किन्नर वर्ग के लिए राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान ने किया विशेष कार्यशाला का आयोजन, यहां पढ़ें
जयपुर । राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान जयपुर की ओर से किन्नर वर्ग के लिए एक दिवसीय कार्यशाला “सम्मान के साथ स्वास्थ्य” का आयोजन आज संस्थान परिसर में किया गया ।कार्यक्रम का आयोजन संस्थान के पोषणाहार विभाग द्वारा किया गया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विभागाध्यक्ष प्रो दुर्गावती देवी ने कहा कि इस कार्यशाला का उद्देश्य किन्नर समुदाय को आयुर्वेद से जोड़ना तथा मुख्य धारा में लाना है।
कार्यशाला को संबोधित करते हुए किन्रर कल्याण बोर्ड़ की अध्यक्ष पुष्पा माई ने कहा कि किन्नर समुदाय को स्वास्थय एंव पोषण संबंधी समस्याओ और कई सामाजिक चुनौतियो का सामना करना पड़ता है। उन्होने कहा कि अस्पतालों मे किन्नर समाज के लिए पृथक वार्ड़ होना चाहिए। उन्होंने गेरकानूनी लिंग परिवर्तन के कारण समाज में हो रही परेशानियों के बारे में बात की तथा उसके लिये सरकार द्वारा प्रदान की गई 2.5 लाख की माली मदद के विषय में प्रतिभागियों को जागरूक किया।
संस्थान के कुलपति प्रो संजीव शर्मा ने अपने उद्बोधन में समाज के द्वारा किन्नर समाज के साथ किया जाने वाला भेदभाव को किन्नर समाज की स्वास्थ्य तथा व्यक्तिगत परेशानियों का कारण बताया। प्रो. शर्मा ने विश्वास दिलाया कि राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान में शुल्क के साथ मिलने वाली सभी सुविधाओं को किन्नर वर्ग के लिये निःशुल्क उपलब्ध करवाया जायेगा। उन्होने अंतर्राष्ट्रीय श्रीधान्य (मिलेट) वर्ष की जानकारी देते हुए इसके प्रयोग पर बल दिया।
कार्यशाला में डॉ कमला नागर, सहायक प्राध्यापक, पोषणाहार विभाग ने किन्नर वर्ग के शारीरिक एवं मानसिक बनावट तथा उनको अपने स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए क्या उपाय करने चाहिए इसकी जानकारी दी। संस्थान के रजिस्ट्रार प्रो. राममूर्थी ने कार्याशाला को संबोधित करते हुए पोषण की कमी के कारण सामाजिक और मानसिक तत्वों पर प्रकाश डाला ।