राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने राज्य सरकार के कर्मचारियों को दिवाली का तोहफा दिया है। यहां राज्य कार्मिकों को दिवाली पर महंगाई भत्ते में 3 प्रतिशत बढ़ोतरी और तदर्थ बोनस के रूप में दोहरी सौगात दी गई है। मुख्यमंत्री ने केंद्र सरकार के कर्मचारियों के अनुरूप ही राज्य कर्मचारियों के महंगाई भत्ते और पेंशनर्स को देय महंगाई राहत की दर में तीन प्रतिशत बढ़ोतरी को मंजूरी दी है। अब राज्य कर्मचारियों और पेंशनर्स को 1 जुलाई 2021 से 31 प्रतिशत महंगाई भत्ता सहित महंगाई राहत दर देय होगी। पूर्व में राज्य कर्मचारियों-पेंशनर्स को 28 प्रतिशत महंगाई भत्ता दिया जा रहा था।
सीएम गहलोत के इस निर्णय का लाभ राजस्थान सिविल सेवा (पुनरीक्षित वेतन) नियम-2017 के आधार पर वेतन प्राप्त कर रहे करीब 8 लाख अधिकारियों-कर्मचारियों के साथ ही 4 लाख 40 हजार पेंशनर्स को भी मिलेगा। यह लाभ राज्य कर्मचारियों के अतिरिक्त कार्य प्रभारित पंचायत समिति और जिला परिषद के कर्मचारियों को भी देय होगा। कर्मचारियों की 1 जुलाई, 2021 से 30 सितंबर 2021 तक बढ़े हुए महंगाई भत्ते की राशि उनके सामान्य प्रावधायी निधि, सामान्य प्रावधायी निधि-2004 या सामान्य प्रावधायी निधि-एसएबी खाते में जमा होगी।
उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार द्वारा महंगाई भत्ते में बढ़ोतरी की घोषणा किए जाने के साथ ही मुख्यमंत्री ने राज्य कर्मचारियों के महंगाई भत्ते की दर में 3 प्रतिशत की बढ़ोतरी करने का निर्णय किया है। राज्य सरकार इस बढ़ोतरी पर सालाना करीब 1230 करोड़ रूपए का वित्तीय भार वहन करेगी। इसी प्रकार गहलोत ने प्रदेश के करीब 6 लाख कर्मचारियों को दिवाली पर तदर्थ बोनस देने की भी मंजूरी दी है। यह लाभ राज्य सेवा के अधिकारियों (राजपत्रित) को छोड़कर पे-मैट्रिक्स लेवल-12 अथवा ग्रेड पे-4800 और इससे नीचे के लेवल का वेतन ले रहे राज्य कर्मचारियों को मिलेगा। यह बोनस पंचायत समिति, जिला परिषद के कर्मचारियों और कार्य प्रभारित कर्मचारियों को भी देय होगा। तदर्थ बोनस की गणना वर्ष 2020-21 के लिए अधिकतम परिलब्धियों 7 हजार रूपए और 31 दिन के माह के आधार पर की जाएगी। यह बोनस 30 दिन की अवधि के लिए देय होगा। इस प्रकार प्रत्येक कार्मिक को अधिकतम 6 हजार 774 रूपए तदर्थ बोनस मिलेगा।