नागौर कोर्ट के बाहर गोलीबारी करने वाले गैंगस्टर दीप्ती और उसके गुर्गे गिरफ्तार

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Update: 2022-12-26 18:14 GMT
नागौर। राजस्थान के नागौर कोर्ट के बाहर शूट आउट करने वाले वांछित गैंगस्टर दीपक उर्फ दीप्ती को गिरफ्तार कर लिया गया है. इसके अलावा उसके गैंग के चार सदस्यों को भी गिरफ्तार कर लिया गया है. दीपक राजस्थान के नागौर में कोर्ट परिसर के बाहर की गई संदीप सेठी की सनसनीखेज हत्या के मामले में वांछित था. हरियाणा में उसके खिलाफ तीन अलग आपराधिक केस दर्ज थे और उसे अपराधी घोषित किया गया था. इसके बाद अभियान चलाकर इस मामले में शामिल 4 अन्य शूटर्स को भी गिरफ्तार किया गया है. गिरफ्तार किए गए शूर्टस में से एक अक्षय है. वह हरियाणा, पंजाब, उत्तर प्रदेश और राजस्थान में कई हत्याओं के मामले में वांछित चल रहा था. उसने महाराष्ट्र के पुणे में सोने की डकैती भी की थी. उत्तर प्रदेश और राजस्थान की तरफ से उस पर इनाम घोषित किया गया था. सेठी पर पहली गोली उसी ने चलाई थी. बताते चलें कि 19 सितंबर को राजस्थान के नागौर कोर्ट के बाहर संदीप बिश्नोई उर्फ सेठी की अज्ञात हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी. इस घटनाक्रम में चार लोग घायल हुए थे. मृतक संदीप की भी आपराधिक पृष्ठभूमि थी और उसके खिलाफ कई आपराधिक मामले चल रहे थे. वह इन्हीं में से एक मामले की सुनवाई के लिए नागौर कोर्ट आया था. अदालत में पेशी के बाद जब वह कुछ लोगों के साथ बाहर निकला, तो छह हमलावरों ने उस पर गोलियों की बौछार कर दी. इससे तुरंत ही मौके पर उसकी मौत हो गई और चार अन्य घायल हो गए. संदीप बिश्नोई उर्फ सेठी को एक सप्ताह पहले ही नागौर जेल से 2020 में एक हत्या के मामले में जमानत पर रिहा किया गया था. उस मामले में वह आरोपी था. घटना के कुछ घंटे बाद बंबीहा गैंग ने हत्या की जिम्मेदारी ली.
हालांकि, बाद में दीप्ति गिरोह ने बंबीहा गैंग के दावे का खंडन किया गया. उसने हत्या की जिम्मेदारी ली और कहा कि उनके बीच चल रही प्रतिद्वंद्विता की वजह से संदीप की हत्या की गई थी. संदीप बिश्नोई और दीप्ति के बीच प्रतिद्वंद्विता की शुरुआत साल 2007 में हुई थी. तब संदीप बिश्नोई और दीप्ति के करीबी दोस्त संदीप गोदारा के बीच हिंसक लड़ाई हुई थी. उस वक्त वे सभी जाट कॉलेज, हिसार में पढ़ रहे थे. इसके बाद से अब तक दोनों ओर से जारी गैंगवार में एक दर्जन से अधिक लोगों की जान जा चुकी है. इस घटना के बाद दिल्ली पुलिस ने पूरे घटनाक्रम पर बारीकी से विश्लेषण किया और जानकारियां जुटाईं. राजस्थान पुलिस ने अपराध स्थल पर मौजूद कुछ अपराधियों को सफलतापूर्वक गिरफ्तार कर लिया. वहीं, मुख्य साजिशकर्ता और गैंग का लीडर दीपक उर्फ दीप्ति फरार रहा. इसके बाद नौ दिसंबर 2022 को आरोपी दीपक को दिल्ली के मजनू का टीला के पास से गिरफ्तार किया गया. वह यहां से नेपाल जाने के लिए बस पकड़ने आया था. सामने आए सुरागों के बाद आरोपी अनूप डावा, जय भगवान और सीसीएल को 16 दिसंबर को दिल्ली के आनंद विहार बस टर्मिनल के पास से गिरफ्तार किया गया। इन गिरफ्तारियों के साथ पता चला कि मुख्य शूटर, जिसने संदीप बिश्नोई को पहली गोली मारी थी वह अक्षय उर्फ सचिन था. वह 2018 से फरार था और उसने इस दौरान चार हत्याएं की थीं। उसे 20 दिसंबर को उत्तराखंड के देहरादून से गिरफ्तार किया गया था. इस प्रकार ग्यारह दिनों तक चलने वाले ऑपरेशन में सरगना, मुख्य शूटर और उसके साथियों को गिरफ्तार कर लिया गया है. दीप्ति गैंग के दिल्ली की ओर बढ़ने पर लगाम लगा दी गई है. मामले की आगे की जांच जारी है.
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