अलवर में पटाखों पर बैन के बावजूद दिवाली पर रातभर जमकर फूटे पटाखे...आसमान को धुंध की चादर ने ढक लिया

दिवाली के मौके पर बैन के बावजूद अलवर में जमकर आतिशबाजी हुई. आसमान को धुंध की चादर ने ढक लिया. दिल्ली एनसीआर क्षेत्र (Delhi NCR Region) में आने की वजह से अलवर में दिवाली पर पटाखे चलाने पर प्रतिबंध लगा हुआ था.

Update: 2021-11-05 10:26 GMT

जनता से रिश्ता। दिवाली के मौके पर बैन के बावजूद अलवर में जमकर आतिशबाजी हुई. आसमान को धुंध की चादर ने ढक लिया. दिल्ली एनसीआर क्षेत्र (Delhi NCR Region) में आने की वजह से अलवर में दिवाली पर पटाखे चलाने पर प्रतिबंध लगा हुआ था. लेकिन लोगों ने बैन की परवाह नहीं करते हुए जमकर आतिशबाजी की है.

दिवाली के अगले दिन शुक्रवार सुबह मंदिरों में अन्नकूट महोत्सव (Annakoot Festival) का आयोजन किया गया. छोटे बड़े सभी मंदिरों में अन्नकूट बना और लोगों ने प्रसाद पाया. दिवाली के अगले दिन शुक्रवार सुबह से ही मंदिरों में अन्नकूट की हलचल दिखाई देने लगी. बड़ी संख्या में लोगों ने पूरी रात मिलकर अन्नकूट बनाया. सुबह हजारों लोगों ने मंदिर में पहुंचकर अन्नकूट खाया और प्रसाद लिया. कुछ मंदिरों में प्रसाद वितरण की व्यवस्था की गई.
अलवर एनसीआर का हिस्सा है. इसलिए अलवर सहित पूरे एनसीआर में पटाखों की बिक्री व चलाने पर रोक थी. प्रदेश सरकार ने अलवर और भरतपुर को छोड़कर पूरे प्रदेश में ग्रीन पटाखे चलाने की अनुमति दी. लेकिन ग्रीन पटाखों की आड़ में खुलेआम पटाखों का पुराना स्टॉक बिकता हुआ दिखाई दिया. अलवर में पटाखों की बिक्री के रोक के बाद भी होप सर्कस, बजाजा बाजार और नगर परिषद के पास धड़ल्ले पटाखे बेचे गए.
पटाखे बेचने के लिए लिया सोशल मीडिया का सहारा
व्यापारियों ने पटाखे बेचने के लिए इस बार सोशल मीडिया का सहारा लिया. व्हाट्सएप पर पटाखों की लिस्ट बनाकर होम डिलीवरी की गई. पुलिस और प्रशासन से बचने के लिए पटाखा व्यापारियों ने कई अन्य नए तरीके भी इजाद किए. दूसरी तरफ कुछ जगह पर पुलिस की मिलीभगत भी सामने आई. शहर के भीड़भाड़ वाले बाजारों में पटाखे बिकते हुए दिखाई दिए. पुलिस की टीम मौके पर पहुंची लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई.


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