फोन टैपिंग मामले में दिल्ली हाईकोर्ट ने जल्द सुनवाई की अर्जी की मंजूर, 11 अक्टूबर को सुनवाई

Update: 2023-09-01 13:12 GMT

राजस्थान में सियासी संकट के दौरान हुई फोन टैपिंग के मामले में जल्द सुनवाई को लेकर दिल्ली पुलिस की अर्जी को दिल्ली हाईकोर्ट ने मंजूर कर लिया है। सात फरवरी 2024 की तारीख की जगह 11 अक्टूबर 2023 को ही अब मामले में अगली सुनवाई होगी। सीएम अशोक गहलोत के ओएसडी लोकेश शर्मा की गिरफ्तारी से रोक हटाने की मांग की गई है।

 राजस्थान फोन टैपिंग मामले में दिल्ली पुलिस ने जल्द सुनवाई की अर्जी दिल्ली हाईकोर्ट में लगाई थी और कहा था कि सुनवाई टलने से जांच प्रभावित हो रही है। सीएम अशोक गहलोत के विशेषाधिकारी (OSD) लोकेश शर्मा ने जांच में सहयोग नहीं किया है। लोकेश शर्मा की गिरफ्तारी पर रोक के कारण मामले की जांच नहीं हो पा रही है। इस पर गुरुवार को हुई सुनवाई में लोकेश शर्मा की ओर से सीनियर एडवोकेट सिद्धार्थ लूथरा ने दिल्ली पुलिस के आरोपों का खंडन करते हुए कहा कि आरोप बेबुनियाद हैं और दिल्ली पुलिस की अर्जी पर वे जवाब दाखिल करना चाहते हैं।
 इससे पहले नौ अगस्त को इस केस में सात फरवरी 2024 की अगली तारीख दी गई थी। तब तक सीएम ओएसडी लोकेश शर्मा की गिरफ्तारी पर रोक जारी रहनी थी। इस बीच राज्य में विधानसभा आम चुनाव भी सम्पन्न हो जाते। लेकिन अर्जी लगने और दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद दिल्ली हाईकोर्ट इस मामले में जल्द सुनवाई के लिए तैयार हो गया और अब अगले साल सात फरवरी के बजाय इसी साल 11 अक्टूबर को राजस्थान फोन टैपिंग मामले में सुनवाई की जाएगी।
दिल्ली पुलिस हाईकोर्ट से लगातार मांग कर रही है कि लोकेश शर्मा की गिरफ्तारी पर रोक को हटा लिया जाए, ताकि पुलिस उनकी गिरफ्तारी कर कोर्ट से कस्टडी और रिमांड लेकर पूछताछ सख्ती से कर सके और मामले में जांच को आगे बढ़ाया जा सके। इसलिए अब 11 अक्टूबर 2023 को होने वाली सुनवाई महत्वपूर्ण रहेगी। हाईकोर्ट यह भी तय करेगा कि लोकेश शर्मा को गिरफ्तारी से राहत बरकरार रहेगी या उनकी गिरफ्तारी की इजाजत दिल्ली पुलिस को दे दी जाए।
क्या है मामला ?
सचिन पायलट खेमे के बगावत और मानेसर कैम्पिंग के दौरान फोन टैपिंग प्रकरण सामने आया था। जिसमें केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत पर कथित रूप से राजस्थान में सरकार गिराने का षड्यंत्र करने का आरोप लगा था। फोन टैपिंग में शेखावत की आवाज बताई गई थी। इस पर केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने दिल्ली में मार्च 2021 में FIR दर्ज करवाई थी। केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत की ओर से मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के ओएसडी लोकेश शर्मा को आरोपी बनाया गया था। लेकिन लोकेश शर्मा की ओर से लगातार दिल्ली हाई कोर्ट से मांग की जा रही है कि इस केस को राजस्थान ट्रांसफर किया जाए, क्योंकि क्षेत्राधिकार राजस्थान का लगता है।
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