सावन के सोमवार को नीलकंठ महादेव मंदिर में उमड़ी भक्तों की भीड़, गूंजा बम-बम भोले

Update: 2023-07-24 15:03 GMT
दौसा। दौसा सावन माह के तीसरे सोमवार को देवनगरी दौसा के पंच महादेव मंदिरों में भक्तों की भीड़ उमड़ी. देवगिरि पर्वत पर स्थित नीलकंठ महादेव के दर्शन के लिए श्रद्धालु सुबह चार बजे से ही यहां पहुंचने लगे। जहां मंगला आरती में बड़ी संख्या में श्रद्धालु शामिल हुए। इसके बाद भक्तों ने भगवान भोलेनाथ का जलाभिषेक कर पूजा-अर्चना की। देवनगरी दौसा के लोगों में पंच महादेव के प्रति अपार श्रद्धा है, ऐसे में सोमवार को बड़ी संख्या में युवाओं ने करीब 300 फीट ऊंची पहाड़ी पर चढ़कर कनक दंडवत प्रणाम करते हुए भगवान भोलेनाथ के दर्शन किए. शिवभक्तों ने भगवान का पंचामृत से अभिषेक किया, वहीं बिल्वपत्र, आक, धतूरा सहित प्रसादी अर्पित कर खुशहाली की कामना की।
श्रद्धालुओं की भारी संख्या के चलते नीलकंठ मंदिर परिसर में आस्था का सैलाब उमड़ पड़ा। इस दौरान मंदिर परिसर हर-हर महादेव और बम-बम भोले के जयकारों से गूंज उठा। किला सागर से लेकर मंदिर तक सीढ़ियों पर भक्तों का रेला नजर आया। इस दौरान जगह-जगह पुलिस बल भी तैनात किया गया था. सावन के महीने में लोग धार्मिक कार्य भी खूब कर रहे हैं. सोमवार को नीलकंठ महादेव के दर्शन के लिए मंदिर पहुंचे श्रद्धालुओं को दूध की लस्सी वितरित की गई। दीपेश ताम्बी ने बताया कि बड़ी संख्या में श्रद्धालु भगवान भोलेनाथ के दर्शन के लिए पहुंच रहे हैं.
बाबा नीलकंठ की कृपा से सभी भक्तों को दूध की लस्सी वितरित की जा रही है। स्थानीय निवासी योगेश कुमार सोनी ने बताया कि दौसा जिले के लोगों में नीलकंठ बाबा के प्रति अगाध आस्था है. यहां जो भी आस्था लेकर आता है बाबा उसकी मनोकामना पूरी करते हैं। यहां के पंच महादेव मंदिरों के प्रति लोगों की आस्था इतनी प्रबल है कि सावन के महीने में यहां मेले जैसा दृश्य रहता है। वहीं एक अन्य भक्त ने बताया कि सावन के महीने में नीलकंठ बाबा के दर्शन के लिए शिव भक्तों में काफी उत्साह रहता है. सिर्फ सोमवार ही नहीं बल्कि सावन माह में ग्रामीण क्षेत्रों से भी बड़ी संख्या में लोग दर्शन के लिए पहुंचते हैं। 7वीं शताब्दी में कछवा वंश के राजा सोधदेव द्वारा निर्मित नीलकंठ महादेव मंदिर, देवगिरी पहाड़ी पर सैकड़ों फीट की ऊंचाई पर स्थित है। इस मंदिर में नीलकंठ महाकाल (भूतनाथ) का शिवलिंग स्थापित था। नीलकंठ महादेव भगवान शिव को समर्पित दौसा के प्राचीन मंदिरों में से एक है। पंच महादेव के नाम से मशहूर इस मंदिर में एक विशाल पत्थर का शिवलिंग है। मंदिर तक जाने के लिए दौसा शहर के किला सागर से सीढ़ियाँ चढ़नी पड़ती हैं।
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