कोर्ट ने विधवा महिला से हेड कांस्टेबल द्वारा दुष्कर्म करने पर 10 साल की सजा सुनाई
कोर्ट ने 50 हजार का जुर्माना भी लगाया
अजमेर: 7 साल पुराने रेप मामले में मजिस्ट्रेट कोर्ट ने हेड कांस्टेबल को 10 साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही कोर्ट ने 50 हजार का जुर्माना भी लगाया है. कोर्ट से सजा मिलने के बाद पुलिस ने हेड कांस्टेबल को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. हेड कांस्टेबल पुलिस की वर्दी में कोर्ट आया था।
जांच के बहाने घर गया और दुष्कर्म किया: आपको बता दें कि रेप से जुड़ा ये मामला ब्यावर के बिजयनगर थाने का है. अपर लोक अभियोजक चंद्र विजय सिंह ने बताया कि ब्यावर निवासी गोविंदराम पुत्र देवाराम 2017 में बिजयनगर थाने में हैड कांस्टेबल पद पर तैनात हुए थे। मई 2017 में बिजयनगर थाना क्षेत्र में एक विधवा महिला के घर में चोरी होने की शिकायत बिजयनगर थाने में दर्ज कराई गई थी. शिकायत की जांच हैड कांस्टेबल गोविंदराम कर रहे थे। जांच के सिलसिले में गोविंदराम का विधवा के घर आना-जाना था। इसी दौरान एक रात गोविंद राम उसके घर पहुंचा और उसके साथ जबरन दुष्कर्म किया. इस दौरान आरोपी गोविंद राम ने सीसीटीवी कैमरे की पेन ड्राइव ले ली और विधवा को परेशान करता रहा.
गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया: 2018 में विधवा महिला ने बिजयनगर थाने में मामला दर्ज कराया था. पुलिस ने मामले की जांच करते हुए हेड कांस्टेबल को दोषी मानते हुए कोर्ट में चालान पेश किया. करीब 7 साल तक चले मामले में अभियोजन पक्ष की ओर से 8 गवाह और 16 दस्तावेज पेश किए गए. बुधवार को न्यायाधीश ने मामले में फैसला सुनाते हुए अभियोजन पक्ष की दलीलों से सहमत होकर आरोपी हेड कांस्टेबल गोविंदराम को 10 साल कठोर कारावास, 50 हजार रुपए जुर्माना और 6 माह अतिरिक्त कारावास जुर्माने के रूप में सुनाई। कोर्ट से सजा सुनाए जाने के बाद पुलिस ने आरोपी हेड कांस्टेबल को गिरफ्तार कर सैदरिया स्थित सब जेल भेज दिया.