राजसमंद। चैत्र नवरात्रि अरावली पर्वतमाला में स्थित 2 हजार फीट की ऊंचाई के सिम का मगरा पर 12 गांवों के सिम (सीमा) में बने सिम माता शक्तिपीठ मंदिर में 10 दिवसीय चैत्र नवरात्रि मनाई जा रही है। सिम माता मंदिर में 10 दिवसीय चैत्र नवरात्रि के दौरान प्रतिदिन माताजी का विशेष श्रृंगार किया जाता था और दिन में चार बार महाआरती की जाती थी। आसपास के भक्त महाआरती का लाभ उठाते हैं और 30 मार्च को रात्रि जागरण और 31 मार्च को ज्वारा विसर्जन किया जाएगा, जहां बयाना, टिकर, कमेरी, सेलागुड़ा, नरूजी का गुड़ा, डेगाना, गुनिया, जडसा, खखरमाला, पिता का खेड़ा, पबराना, खरा काजीगुड़ा, गांव के लोग शामिल होंगे। भोपजी भगवानलाल व नारायणलाल गुर्जर ने बताया कि साल में दो बार नवरात्र उत्सव होता है, इसके अलावा साल में एक बार 12 कोशी परिक्रमा अक्षय तृतीया से शुरू होकर बारह कोस यानी हिम का मगरा से 40 किलोमीटर तक होती है. परिक्रमा माताजी के भोपाजी पुजारी हजुरिया और आसपास के गांवों के भक्तों द्वारा की जाती है, जो अपने आप में एक अद्भुत परंपरा है। इस दौरान मंदिर के पुजारी भगवानलाल, नारायणलाल, चवंदसिंह, देवीसिंह, लालसिंह, पूरनसिंह, शंकरलाल प्रजापत कामेरी, मोदीराम गुर्जर बियाना, मोहनलाल टिकर, ओगुलाल नरूजी का गुड्डा, देवीशंकर शर्मा, लक्ष्मी नारायण शर्मा टीकर, भीमराज गुर्जर जडसा, भैरूलाल, नारायणलाल गुनिया, अमराराम गुर्जर, हीरालाल गुर्जर कुंठाल, रामसिंह सालमपुरा, रजूनाथ, मोहननाथ कामेरी, सज्जनसिंह सोलंकी उप अध्यक्ष पास आमेट, हरिसिंह बल्ला का खेड़ा, प्रकाश शर्मा टीकर, मांगीलाल गुर्जर कामेरी आदि श्रद्धालु उपस्थित थे।