Karnataka कर्नाटक : कानून एवं संसदीय विभाग के सचिव जी. श्रीधर ने बताया कि माइक्रोफाइनेंस कंपनियों और साहूकारों द्वारा कर्जदारों को परेशान करने से बचाने के उद्देश्य से तैयार 'कर्नाटक माइक्रोफाइनेंस (जबरदस्ती उपायों की रोकथाम) अध्यादेश-2025' को मंजूरी के लिए राज्यपाल थावर चंद गहलोत के पास भेज दिया गया है। उन्होंने कहा, "अध्यादेश में कर्जदारों को परेशान करने या उनके साथ दुर्व्यवहार करने वाली माइक्रोफाइनेंस कंपनियों या साहूकारों के लिए कम से कम छह महीने की कैद की सजा का प्रावधान है, जिसे 10 साल तक बढ़ाया जा सकता है और जुर्माने की राशि 5 लाख रुपये तक हो सकती है।"