जमशेदपुर न्यूज़: जमशेदपुर अधिसूचित क्षेत्र समिति के प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) के घटक-3 के तहत बिरसानगर जमशेदपुर में बन रहे किफायती आवास परियोजना के 1934 लाभुकों को बैंक से लोन नहीं मिल पा रहा है, जिसके चलते अधिकतर लोग किस्त का भुगतान नहीं कर पा रहे हैं. बैंकों की दलील है कि झारखंड रेरा के तहत निबंधित होने के बाद ही बैंक से लोन स्वीकृत होगा.
झारखंड अर्बन डेवलपमेंट कॉरपोरेशन (जुडको) द्वारा पीएम आवास बिरसानगर में कुल 9552 फ्लैट का निर्माण किया जा रहा है. इनमें 1934 लाभुकों को लॉटरी के माध्यम से आवंटन किया गया है. लोगों ने बैंक लोन की उम्मीद पर आवंटन को स्वीकार कर लिया, लेकिन जब बैंक से लोन नहीं मिला तो लोग दूसरी और तीसरी किस्त चुकाने में लाचारी जता रहे हैं. लोगों को भरोसा दिलाया गया कि सवा लाख रुपये तक ब्याज में सब्सिडी भी मिलेगी, लेकिन अबतक रेरा के पेच में फंसने के कारण लाभुकों को बैंक लोन नहीं मिल रहा है.
तकनीकी कारणों से रेरा निबंधन में हुई देरी
पीएम किफायती आवास का रेरा में निबंधन में देर होने का कारण अलग-अलग ब्लॉक के अलग-अलग ठेकेदार का होना है. कहीं जमीन निचले हिस्से में थी तो कहीं जमीन हस्तानांतरण की प्रक्रिया में विलंब हो रही थी. इसके चलते निबंधन में देर हुई.
रेरा के तहत जल्द ही प्रोजेक्ट निबंधित होने वाला है, सारी प्रक्रिया पूरी कर ली गई है. जुलाई के आखिर तक रेरा निबंधन की अड़चन खत्म हो जाएगी. लाभुकों को बैंक लोन मिलने लगेगा.
-संजय कुमार, विशेष पदाधिकारी, जेएनएसी
बिना लोन बड़ी किस्त चुकानी पड़ रही
पीएम आवास के लाभुकों को बिना बैंक लोन के ही दूसरी किस्त 101500 रुपये चुकानी पड़ रही है, जो लाभुकों पर भारी पड़ रही है. कुल 32 ब्लॉक और जी प्लस 8 का निर्माण किया जा रहा है. जिसके पहले चरण में 3836 दूसरे चरण मे 852 तथा तीसरे चरण मे 696 लाभुकों को आवास आवंटन किया गया है.
पीएम आवास को नहीं मिल रही गति
लाभुकों को लोन नहीं मिलने के चलते निर्माण कार्य में भी तेजी नहीं आ पा रही है. लोग जैसे जैसे किस्त चुका रहे हैं, उस राशि से निर्माण किया जा रहा है. अबतक एक टावर में कुछ फ्लैट का निर्माण पूरा हुआ, जिसमें दिवाली तक कुछ लाभुकों का प्रवेश कराने का लक्ष्य तय किया गया है.