राँची न्यूज़: स्थायी जगह तो मिली है, पर कारोबार 75 प्रतिशत तक घट गया है. मुश्किल से परिवार चलाने भर खर्च निकल रहा है. कई साथी दुकानदारों ने कर्ज से परेशान होकर अपनी दुकान भी छोड़ दी है. कई खर्च निकालने के लिए बाहर दुकान लगा रहे हैं. एक ही मार्केट में ऊपर खुशी तो नीचे गम के हालात हैं. ऊपरी तल्ले में चारों ओर प्रवेश द्वार होने से काफी ग्राहक पहुंचते हैं. नीचे तल्ले में एक ही प्रवेश द्वार होने से न के बराबर ग्राहक आते हैं. मुख्य गेट पर हमेशा ऑटो लगे रहने से भी ग्राहक नहीं आते.
उन्होंने कहा कि जब तक वेजिटेबल मार्केट के दुकानदारों व नए वेंडरों को मैकी रोड में दुकान लगाने से नहीं रोका जाएगा, तब तक उनकी स्थिति नहीं सुधरेगी. नगर निगम अगर सख्ती नहीं करेगा तो एक साल में दुकानें बंद करनी पड़ेंगी.
जगह 200 को, अब 30 ही दुकान
दुकानदारों का कहना है कि बाहर दुकान लगाने वालों पर सख्ती नहीं होने से ग्राहक नहीं पहुंचते हैं. नीचे तल पर 200 की जगह अब सिर्फ 25-30 दुकानदार ही स्थायी तौर पर दुकान लगा रहे हैं. निगम ने इस ओर ध्यान देना बंद कर दिया.
घर चलाने भर खर्च निकल रहा है, पर बचत नहीं हो रही. अगर ज्यादा पैसे की जरूरत पड़ेगी तो कर्ज लेना ही एक रास्ता है.
-लीलावती देवी
नागाबाबा वेंडर मार्केट के आसपास दूसरा मार्केट बसने नहीं दिया जाएगा. निगम यहां की परेशानियां समय रहते दूर कर लेगा.
-कुंवर सिंह पाहन
अपर नगर आयुक्त