इंडिगो एयरलाइन पर दिव्यांग को रोकने का मामला: जांच में मिली स्टाफ की गलती
इंडिगो एयरलाइन में एक दिव्यांग को बोर्डिंग न करने देने के मामले में नई जानकारी सामने आई है
इंडिगो एयरलाइन में एक दिव्यांग को बोर्डिंग न करने देने के मामले में नई जानकारी सामने आई है. 7 मई 2022 को इंडिगो एयरलाइन ने रांची हवाई अड्डे पर परिवार के साथ एक दिव्यांग बच्चे को बोर्डिंग करने से रोक दिया था. इस घटना पर नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) ने एक फैक्ट फाइंडिंग जांच का आदेश दिया था. समिति ने अपनी रिपोर्ट सौंप दी है.
समिति ने अपनी जांच में प्रथम दृष्टया यह माना है कि इंडिगो कर्मचारियों ने यात्रियों के साथ अनुचित व्यवहार किया. इसे देखते हुए संबंधित एयरलाइन को अपने अधिकृत प्रतिनिधि के जरिये कारण बताओ नोटिस जारी करने का निर्णय लिया गया है, ताकि यह स्पष्ट किया जा सके कि खराब आचरण के चलते उनके खिलाफ उचित कार्रवाई क्यों नहीं की जानी चाहिए.
एयरलाइन को अगले दस दिनों में यानी 26 मई 2022 तक व्यक्तिगत सुनवाई के साथ-साथ लिखित जवाब देने का समय दिया गया है. एयरलाइन की दलीलें सुनने के बाद कानून के अनुसार उचित कार्रवाई की जाएगी.
क्या था मामला
इंडिगो ने रांची में एक दिव्यांग बच्चे को बोर्डिंग से रोक दिया. इस मामले में DGCA ने एयरलाइन को कारण बताओ नोटिस जारी किया था. इसे प्रथम दृष्टया 'यात्रियों के साथ खराब हैंडलिंग' पाया गया. एयरलाइन को 26 मई 2022 तक जवाब देना होगा, जिसके बाद उचित कार्रवाई की जाएगी. DGCA ने पिछले सोमवार को घटना की जांच करने और एक सप्ताह के भीतर रिपोर्ट देने के लिए तीन सदस्यीय समिति का गठन किया था. टीम को रांची और हैदराबाद का दौरा करने के लिए कहा गया था.
एयरपोर्ट अथॉरिटी और एयरलाइन ने क्या कहा
रांची एयरपोर्ट पर दिव्यांग बच्चे को इंडिगो की फ्लाइट में सवार होने से रोक दिया गया था. इसके बाद एयरपोर्ट अथॉरिटी और एयरलाइन कंपनी दोनों की तरफ से सफाई आई. एयरपोर्ट अथॉरिटी ने दूसरे यात्रियों की सुरक्षा का हवाला देते हुए कहा कि बच्चा काफी पैनिक और अग्रेसिव था. वह दूसरे यात्रियों की सुरक्षा के लिए खतरा पैदा कर सकता था.
एयरलाइन ने बाद में बयान जारी कर कहा कि बच्चे ने यात्रियों की सुरक्षा के लिए खतरा पैदा किया. वह पैनिक स्थिति में था. ग्राउंड स्टाफ ने अंतिम समय तक उसके शांत होने का इंतजार किया. लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ.