जनता से रिश्ता वेबडेस्क : झारखंड में अब बालू को लेकर बवाल मच गया है। राज्य में बालू की किल्लत से पांच हजार करोड़ की सरकारी और गैर सरकारी विकास योजनाएं प्रभावित हैं। रांची में जहां स्मार्ट सिटी का काम रुक गया है, वहीं अन्य निर्माण कार्यों की रफ्तार भी बुरी तरह प्रभावित हुई है। इस स्थिति के अगले कुछ महीने तक बने रहने की आशंका जताई जा रही है। बालू घाटों की नीलामी नहीं होने की वजह से यह स्थिति बनी है। भाजपा ने इस समस्या के लिए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को जिम्मेदार बताया है। मुख्यमंत्री को इसके लिए जमकर कोसा है। हेमंत सोरेन के खिलाफ मोर्चा संभालते हुए भाजपा विधायक दल के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने इंटरनेट मीडिया पर फिर टवीट किया है। बाबूलाल मरांडी ने लिखा है- झारखंड में बालू की किल्लत के कारण निर्माण उद्योग से जुड़े काम पूरी तरह से ठप पड़े हुए है। हजारों लोग बेरोजगार हो गए हैं। व्यवसायी बता रहे हैं कि 26 सालों में ये सबसे भयावह स्थिति है।