राँची न्यूज़: बुंडू की पार्वती देवी को ब्लड कैंसर है. वह एक्यूट माइलॉयड ल्यूकेमिया से जूझ रही है, जो इसका सबसे घातक रूप है। लेकिन सदर अस्पताल में बेहतर इलाज के बाद अब पार्वती 10 साल से अधिक जी सकेगी. यह दावा रांची सदर अस्पताल में इलाज कर रहे झारखंड के एकमात्र हेमेटोलॉजिस्ट डॉ अभिषेक रंजन ने किया है.
यहां 15 दिनों से भर्ती पार्वती का इलाज आयुष्मान भारत योजना के तहत नि:शुल्क किया जा रहा है। टीएमएच मुंबई में 15 लाख और वेल्लोर में 9 लाख रुपये इलाज का खर्च बताया गया, लेकिन सदर अस्पताल में 15 दिनों में करीब 10 हजार रुपये सिर्फ दवा पर खर्च करना पड़ता है. बाकी पूरा इलाज और दवाइयां मुफ्त दी जाती हैं। हेमेटोलॉजी विभाग में तीन माह में भर्ती हुए आयुष्मान योजना के 15 मरीज अब पूरी तरह स्वस्थ हो गए हैं।
सदर के हेमेटोलॉजी विभाग में 20 मरीज भर्ती...
सदर अस्पताल में हेमेटोलॉजी विभाग खुले अभी तीन माह ही हुए हैं, लेकिन अब तक 15 मरीजों को इलाज मिल चुका है, जबकि 18 नये मरीज भर्ती हुए हैं. इनमें से अधिकांश को आयुष्मान भारत के तहत मुफ्त चिकित्सा सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं। भर्ती मरीजों में करीब 6-7 मरीज अप्लास्टिक एनीमिया के हैं। 10 मरीज ब्लड कैंसर से पीड़ित हैं। ब्लड कैंसर से पीड़ित मरीजों में 3 मरीज एक्यूट माइलॉयड ल्यूकेमिया, 3 मरीज एक्यूट लिम्फोब्लास्टिक ल्यूकेमिया, 2 मरीज क्रोनिक माइलॉयड ल्यूकेमिया और 1 मरीज लिम्फोमा से पीड़ित है।
इन बीमारियों का संपूर्ण इलाज सदर में संभव है.
सभी प्रकार के एनीमिया.
सभी प्रकार के ल्यूकेमिया.
प्लेटलेट संबंधी सभी प्रकार के रोग।
लिंफोमा संबंधी रोग.
हीमोफीलिया।
थैलेसीमिया.
सिकल-सेल-एनीमिया आदि।