चाकुलिया : राष्ट्रपिता और भगवान बिरसा की मूर्ति को आज मिलेगी झाड़ियों से मुक्ति
देश की आजादी के अमृत महोत्सव के दौर में रविवार को हर जगह शहीदों और महापुरुषों की मूर्तियां सज धज कर तैयार हैं
Chakuliya : देश की आजादी के अमृत महोत्सव के दौर में रविवार को हर जगह शहीदों और महापुरुषों की मूर्तियां सज धज कर तैयार हैं. घर घर तिरंगा लहरा रहा है. हर कोई आजादी के जश्न में डूब रहा है. चाकुलिया में भी विभिन्न विद्यालयों के बच्चे हाथ में तिरंगा लेकर तिरंगा यात्रा निकाल रहे हैं और लोगों में देशभक्ति की भावना भर रहे हैं. सोमवार को यानी कि15 अगस्त को आजादी का जश्न मनाया जाएगा. मगर चाकुलिया नगर पंचायत क्षेत्र की विडंबना देखिए कि रविवार को डाक बंगला में स्थापित राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की मूर्ति और वार्ड नंबर एक के गोविंदपुर में भगवान बिरसा के मूर्ति की साफ सफाई रविवार को शुरू हुई है. यानी कि आज देश के दोनों महान स्वतंत्रता सेनानियों की मूर्तियों को झाड़ियों और गंदगी से मुक्ति मिलेगी. साफ सफाई ठीक से हो पाएगी अथवा नहीं, इस पर,भी सवाल खड़े हैं, क्योंकि बारिश हो रही है.
मूर्ति के फटे चबूतरे की भी मरम्मत नहीं हुई है
डाक बंगला में स्थापित राष्ट्रपिता की मूर्ति के पास की झाड़ियों की सफाई करने में कई मजदूर लगे हैं. गोविंदपुर में भगवान बिरसा की मूर्ति के आसपास की झाड़ियों की सफाई करने में एक मजदूर जुटा है. मूर्ति के चबूतरे की कब मरम्मत होगी और मूर्ति का रंग रोगन कब होगा, यह देखने वाली बात है. बिरसा चौक पर स्थापित भगवान बिरसा की मूर्ति का भी रंग रोगन नहीं हुआ है. मूर्ति के फटे चबूतरे की भी मरम्मत नहीं की गई है. मूर्ति के चारों ओर लगाया गया लोहे का ग्रिल भी टूटे हालत में है. जबकि इस मूर्ति पर अक्सर जनप्रतिनिधि और पदाधिकारी माल्यार्पण करते हैं. कल ही की तो बात है जब विधानसभा के अध्यक्ष रविंद्र नाथ महतो ने भी भगवान बिरसा के इस मूर्ति पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित की. उनके द्वारा अर्पित फूल और माला अभी भी मौजूद हैं.
महापुरुषों की मूर्तियों का रंग रोगन करने के लिए नहीं है पैसे
ऐसे में अहम सवाल खड़ा है कि आजादी के अमृत महोत्सव के दौर में नगर पंचायत क्षेत्र में शहीदों और महापुरुषों की मूर्तियां उपेक्षित क्यों हैं. जबकि नगर पंचायत क्षेत्र में करोड़ों की योजनाएं संचालित हो रही हैं. दो करोड़ की लागत से नगर पंचायत का भव्य कार्यालय बन रहा है. 90 लाख की लागत से पार्क का निर्माण हो रहा है. और ना जाने कितने करोड़ की योजनाएं संचालित हो रही हैं. मगर शहीदों और महापुरुषों की मूर्तियों का रंग रोगन करने और चबूतरे की मरम्मत के लिए नगर पंचायत प्रशासन के पास पैसे नहीं हैं.
by Lagatar News