सर्जन बरकती गिरफ्तार, आतंकी फंडिंग मामले में SIA की कार्रवाई, 30 से अधिक मामले हैं दर्ज
कश्मीर घाटी में राज्य जांच एजेंसी (एसआईए) ने सर्जन अहमद वागे उर्फ सर्जन बरकती को गिरफ्तार किया है। आरोप है कि सर्जन ने क्राउड फंडिंग के माध्यम से करोड़ों रुपये की धनराशि जुटाई और फिर इस राशि का दुरुपयोग किया। इस फंड की मदद से घाटी में अलगाववाद और आतंकवाद को बढ़ावा देने के लिए मनी लॉन्ड्रिंग और अघोषित संपत्ति का अधिग्रहण किया गया।
सूत्रों के अनुसार, सर्जन बरकती को आजादी चाचा के नाम के तौर पर भी जाना जाता है। 2016 में सुरक्षा बलों द्वारा हिजबुल मुजाहिदीन कमांडर बुरहान वानी को मार गिराए जाने के बाद प्रमुखता से वह सामने आया। सर्जन बरकती ने 2016 में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन, रैलियां और सुरक्षाबलों के साथ झड़पें कीं। इसके चलते घाटी के विभिन्न पुलिस थानों में बरकती के खिलाफ 30 से अधिक एफआईआर दर्ज की गईं।
एसआईए कश्मीर के अनुसार बरकती क्राउडफंडिंग अभियानों से करीब 1.74 करोड़ रुपये जुटाने में कामयाब रहा। ये धनराशि स्पष्ट रूप से व्यक्तिगत लाभ के लिए एकत्र की गई थी, और एकत्रित धन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा कथित तौर पर अज्ञात उद्देश्यों के लिए दुरुपयोग में लाया गया। इसमें अलगाववादी और आतंकवादी गतिविधियों का वित्तपोषण भी शामिल है।
एसआईए कश्मीर ने बताया कि जांच के दौरान पता चला है कि बरकती ने व्यक्तिगत वित्तीय लाभ के लिए न केवल सार्वजनिक भावनाओं के साथ खिलवाड़ किया, बल्कि आतंकवादी संगठनों के साथ संदिग्ध संबंधों वाले अज्ञात स्रोतों से धन की लूट भी की। इसके अतिरिक्त, अर्जित धन का एक बड़ा हिस्सा बरकती के परिवार के सदस्यों के नाम के तहत विभिन्न सावधि जमा रसीदों (एफडीआर) में जमा किया गया। इससे स्रोतों की वैधता और धन के उपयोग पर सवाल खड़े होते हैं।
“एसआईए कश्मीर ने कहा कि सरजन बरकती ने लोगों के साथ विश्वासघात किया है। उन्होंने व्यक्तिगत और संभावित अवैध एजेंडे को आगे बढ़ाने के लिए भावनात्मक अपील और क्राउडफंडिंग प्लेटफार्मों के माध्यम से हेरफेर किया। बरकती की गतिविधियों ने केवल क्राउडफंडिंग की अखंडता को भी धूमिल किया है। साथ ही अलगाववादी-आतंकवादी गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए ऐसे संसाधनों के दुरुपयोग के बारे में गंभीर चिंताएं भी पैदा की हैं।