शिमला। कांग्रेस विधायक राजेश धर्माणी ने आरोप लगाया कि केंद्र की भाजपा सरकार ने तो कफन तक पर टैक्स लगाया है। उन्होंने आरोप लगाया कि पूर्व प्रदेश भाजपा सरकार के समय कोरोना महामारी के दौरान अव्यवस्था देखने को मिली। इस कारण भाजपा चारों उपचुनाव हार गई तथा स्वास्थ्य मंत्री को पद से हटाने का निर्णय लेना पड़ा। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार के समय में खोले गए कालेजों की यह स्थिति थी कि 1 प्रिंसीपल के पास 3 काॅलेजों का दायित्व तथा लैक्चरर 3-3 दिन अलग-अलग काॅलेजों में डैपुटेशन पर पढ़ाने जाते थे। भाजपा विधायक सुखराम चौधरी ने नियम-67 के तहत हुई चर्चा की शुरूआत करते हुए कहा कि कांग्रेस सरकार की तरफ से संस्थानों को बंद करने से आम आदमी में रोष है।
पूर्व भाजपा सरकार के समय 2 साल इसलिए संस्थान नहीं खुल पाए क्योंकि उस समय कोरोना काल था। उन्होंने कहा कि पूर्व भाजपा सरकार ने तो कांग्रेस कार्यकाल में खुले संस्थानों को भी क्रियाशील किया। भाजपा विधायक राकेश जम्वाल ने कर्मचारी चयन आयोग हमीरपुर में भ्रष्टाचार का मामला सामने आने पर इसको बंद करने पर आपत्ति जताई। उन्होंने कहा कि प्रदेश में एक स्कूटी के नंबर के लिए सवा करोड़ रुपए की बोली लगी है, तो क्या ऐसे में विभाग को बंद कर देंगे। कांग्रेस विधायक नंदलाल ने आरोप लगाया कि पूर्व सरकार में सैनिटाइजर खरीद में हेरा-फेरी का मामला सामने आया। इसी तरह पूर्व सरकार ने प्रदेश को कर्ज के बोझ तले दबाया। उन्होंने कहा कि जुब्बल-कोटखाई में ही 2-2 एसडीएम ऑफिस खोले गए, जिसका कोई औचित्य नहीं है।