भिवानी खनन हादसा: NGT की अंतरिम रिपोर्ट में चौंकाने वाले खुलासे, 300 वर्ग मीटर तक जंगल का सीना छलनी की
हरियाणा के भिवानी जिले के डाडम क्षेत्र में खनन ठेकेदारों ने 300 वर्ग मीटर तक जंगल का सीना छलनी कर दिया है।
हरियाणा के भिवानी जिले के डाडम क्षेत्र में खनन ठेकेदारों ने 300 वर्ग मीटर तक जंगल का सीना छलनी कर दिया है। यह क्षेत्र अरावली की पहाड़ियों में पड़ता है। लीज क्षेत्र से बाहर भी वर्तमान ठेकेदार ने 0.8 हेक्टेयर क्षेत्र में अवैध खनन किया है। नया ठेकेदार पुराने समकक्ष की खनन नीति पर ही काम करता रहा। उसने अपनी खनन नीति बनाई ही नहीं। यह खुलासे एनजीटी की हरियाणा निगरानी समिति के चेयरमैन व डाडम में अवैध व अवैज्ञानिक खनन की शिकायतों की जांच के लिए गठित आठ सदस्यीय संयुक्त समिति के चेयरमैन जस्टिस प्रीतम पाल की अंतरिम रिपोर्ट से हुए हैं।
यह रिपोर्ट 13 अक्तूबर 2021 को उन्होंने एनजीटी को सौंपी है। कमेटी ने अगस्त और अक्तूबर माह में दो बार डाडम क्षेत्र का दौरा किया है। उसके आधार पर रिपोर्ट में जिक्र है कि हरसेक हिसार की अध्ययन रिपोर्ट के अनुसार सतह से 78 मीटर नीचे तक ही खनन किया जा सकता था, लेकिन ठेकेदार ने 109 मीटर तक किया है। कहीं 200-250 मीटर खोदाई भी हुई है। रिपोर्ट के अनुसार खनन से भूजल खादान में नहीं निकला है। खादान की दरारों में रिसाव से पानी आया है। चूंकि, आसपास के जलस्रोतों का जल स्तर 9 से 18 मीटर के बीच है। खादान में पहाड़ खिसकने से बड़ा हादसे की जांच के लपेटे में अधिकारी भी आ सकते हैं। बुधवार को खादान व भूगर्भ मंत्री मूलचंद शर्मा ने सिविल सचिवालय में मामले की तह तक पहुंचने के लिए उच्च स्तरीय बैठक बुलाई है।
अवैज्ञानिक खनन की स्वायत्त एजेंसी से कराएं जांच
खादान सुरक्षा विभाग गाजियाबाद ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि डाडम में अवैज्ञानिक खनन नहीं हो रहा। इस पर जस्टिस प्रीतम पाल कमेटी ने खादान व भूगर्भ विभाग भिवानी को निर्देश दिए हैं कि प्रतिष्ठित वैज्ञानिक संगठन से उपनिदेशक खादान सुरक्षा विभाग की रिपोर्ट का अध्ययन करवाए। डाडम खादान को आरडी 20500 से 23500 के बीच 2015-2021 के बीच हुए नुकसान की सैटेलाइट इमेज तैयार कर सौंपे। डीसी भिवानी खादान को नष्ट करने वाले ठेकेदारों व अन्य की जिम्मेदारी तय कर मरम्मत कार्य के लिए राशि वसूलें। खादान व भूगर्भ विभाग डाडम खादान के समानांतर पुल के आसपास हुए खनन की जांच कर रिपोर्ट तैयार की जाए। यह पुल वर्तमान में बंद है। ये कदम भी उठाए जाएं
अवैध खनन करने वालों के खिलाफ व्यक्तिगत शिकायत के आधार पर एफआईआर दर्ज करने के लिए एमएमडीआर एक्ट 1957 में संशोधन करें
खादान विभाग एक ऐप तैयार करे, जिसे विभाग के सभी अधिकारी उपयोग में लाएं। इसके जरिये अलर्ट जारी कर अवैध खनन करने वालों पर कार्रवाई करें
खनन माफिया के न मानने पर मामला न्यायालय को भेजा जाए।
डाडम खादान की तीन महीने के भीतर जिओ फेंसिंग कराएं।
खादान में आने वाले वाहनों के परिवहन परमिट, जांचने, सिक्योरिटी दस्तावेज पर उनकी प्रिंटिंग व जिला स्तर पर टास्क फोर्स 6 महीने में बनाई जाए.