जब एक पुलिसकर्मी को हिरासत में ले जाते दिखे अन्य पुलिसकर्मी, विधानसभा के बाहर धरने पर बैठा था

जानिए पूरा मामला.

Update: 2021-10-26 04:09 GMT

अहमदाबाद: गुजरात पुलिस के लिए स्थिति उस समय असहज हो गई जब वेतन बढ़ाने की मांग को लेकर राज्य विधानसभा के सामने एक पुलिसकर्मी वर्दी में ही धरने पर बैठ गया. काफी समझाने के बाद जब वह नहीं माना तो पुलिस ने उसे जबरन उठाकर हिरासत में ले लिया.

गुजरात के पुलिस विभाग में इन दिनों वेतन वृद्धि की मांग की जा रही है. पुलिस के कर्मचारियों की ओर से सोशल मीडिया पर भी वेतन बढ़ाने की मांग को लेकर लगातार अभियान चलाया जा रहा है. पिछले कुछ दिनों से ग्रेड पे की मांग के साथ ज्यादातर पुलिस कर्मचारी सोशल मीडिया में पोस्ट भी कर रहे हैं.
हालांकि अनुशासन में रहने की वजह से वर्दी में ये लोग खुलकर विरोध नहीं कर रहे थे. लेकिन सोमवार को अचानक गांधीनगर में विधानसभा के बाहर एक पुलिस कॉन्स्टेबल पुलिस वर्दी में ही अपनी मांग को बुंलद करते हुए धरने पर बैठ गया.
हार्दिक पंड्या नाम का ये कॉन्स्टेबल अहमदाबाद के बापूनगर पुलिस थाने में तैनात है. जिसने सोमवार को खुलकर ग्रेड पे और सातवें वेतन आयोग की मांग कर धरना-प्रदर्शन शुरू किया तो गांधीनगर की सेक्टर-7 की पुलिस ही उसे यहां से उठा कर हिरासत में ले गई.
लोकरक्षक दल यानी LRD से कॉन्स्टेबल बने तब से लेकर 12 साल तक कॉन्स्टेबल के वेतन में कोई बदलाव नहीं होता है और उसे 1800 रुपये ही ग्रेड पे मिलता हे. और यह कुल मिलकर 20 हजार के आसपास होता है. ऐसे में पुलिस कॉन्स्टेबल 2800 ग्रेड पे की मांग कर रहे हैं, ऐसा होने पर उनकी सैलरी बढ़कर कुल मिलाकर 28 हजार के आसपास पहुंच जाएगी.
अनुशासित विभाग होने की वजह से पुलिस कर्मचारी इस के लिए आंदोलन नहीं कर सकते हैं. हालांकि इस वजह से उन्हें शारीरिक और मानसिक यातनाओं को सहना पड़ता है.
पहली बार पुलिस कॉन्स्टेबल खुलकर सामने आया है और इनकी मांग है कि गुजरात में कॉन्स्टेबल, हेड कॉन्स्टेबल, और ASI के दूसरे राज्यों के सामने बेहद कम ग्रेड पे मिलता है जिसे बढ़ाकर 2800, 3600, और 4200 किया जाए. साथ ही तीसरे वर्ग के कर्मचारी को उसके हिसाब से ग्रेड पे मिले और पे बॉन्ड मिलना चाहिए. इसके अलावा पुलिस कर्मचारियों को सातवें वेतन आयोग का लाभ मिलना चाहिए. 
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