गुजरात सरकार के एयर एंबुलेंस से चिकित्सकीय आपातकाल में ऐसे हुआ पहली बार उपयोग
गुजरात में पहली बार एक मरीज को चिकित्सकीय आपातकाल में एयरलिफ्ट के लिए राज्य सरकार के एयर एंबुलेंस का उपयोग किया गया है।
राजकोट. गुजरात में पहली बार एक मरीज को चिकित्सकीय आपातकाल में एयरलिफ्ट के लिए राज्य सरकार के एयर एंबुलेंस का उपयोग किया गया है। फेफड़े की गंभीर बीमारी से पीडि़त राजकोट के इस मरीज को चेन्नई इलाज के लिए भेजा गया।
राज्य सरकार की ओर से पिछले दिनों 108 एम्बुलेंस की तरह ही आपात स्थिति में मरीजों के लिए सरकारी एयर एंबुलेंस के उपयोग की अनुमति दी गई थी। इस सेवा का राजकोट के मरीज जय मकवाणा के लिए पहली बार इस्तेमाल किया गया। यह मरीज राजकोट के एक निजी अस्पताल में दाखिल था। फेफड़े की गंभीर बीमारी से पीडि़त इस मरीज को सांस लेने में परेशानी हो रही थी। मरीज की गंभीर स्थिति को देखते हुए चिकित्सकों ने उसे चेन्नई के अस्ताल के लिए रेफर किया। इसके बाद उसे राज्य सरकार की ओर से शुरू किए गए एयर एम्बुलेंस के मार्फत चेन्नई भेजा गया।
राज्य सरकार के एयर एंबुलेंस से चिकित्सकीय आपातकाल में ऐसे हुआ पहली बार उपयोगराजकोट 108 प्रोग्राम प्रबंधक मनवीर डांगर ने बताया कि सरकारी एयर एम्बुलेंस की व्यवस्था अहमदाबाद से की जाती है। वहीं निजी एम्बुलेंस मुंबई, दिल्ली या चेन्नई से भेजा जाता है। इस कारण इसका किराया अधिक हो जाता है। सरकारी एयर एंबलुेंस गुजरात के किसी भी स्थल पर तेजी से पहुंच सकता है। राज्य सरकार की ओर से इस सेवा का संचालन होने से हवाईअड्डे पर मंजूरी भी शीघ्रता से मिल जाती है।
108 सेवा से जुड़ी एयर एम्बुलेंस चिकित्सकीय साधनों से युक्त होता है। एयर एम्बुलेंस में चिकित्सक के साथ मेडिकल स्टाफ भी होता हैं। इस सेवा का लाभ लेने के लिए मरीजों के परिजनों को सर्वप्रथम 108 पर फोन कर सेंटर में एयर एम्बुलेंस की सेवा लेने के बारे में जानकारी देनी होती है। मरीज हवाई सेवा के लिए योग्य होने का प्रमाण पत्र चिकित्सक से लेना जरूरी होता है।