खरोरा। छत्तीसगढ़ में महिलाओं ने अपने पति की लंबी उम्र के लिए वट सावित्री व्रत रखकर पूजा-अर्चना की। महासमुंद जिले खरोरा सहित आस-पास के इलाके में भी महिलाओं ने तपती धूप और गर्मी के बीच पति की लंबी उम्र की कामना के लिए वट सावित्री व्रत रखकर बरगद के वृक्ष की पूरे विधि-विधान के साथ पूजा की। फिर मौली धागे को लेकर 7 और 108 फेरे लेकर व्रत पूरा किया।
व्रत कर रही महिलाओं ने बताया कि, वट सावित्री व्रत की कथा के अनुसार, अश्वपति की बेटी सावित्री का विवाह सत्यवान से हुआ। सत्यवान के पिता का राजपाट छीन गया था इसलिए ही उनके पति अपने माता-पिता के साथ जंगल में रहते थे। जंगल में सत्यवान लकड़ियां काटने जाया करते थे और सावित्री अपने अंधे सास-ससुर की सेवा करती थीं। एक दिन सावित्री भी सत्यवान के साथ जंगल में लकड़ियां काटने गई। लकड़ियां काटते समय सत्यवान को चक्कर आने लगा तो वह पेड़ से उतरकर नीचे बैठ गया। उसी समय भैंसे पर सवार होकर यमराज सत्यवान के प्राण हरने आए। सावित्री ने उन्हें पहचान लिया और उनसे कहा कि, आप मेरे सत्यवान के प्राण न लें। बदले में मेरे प्राण ले लें।