गर्भवती महिला की कोख में हुई अजन्में बच्चे की मौत, घर तक नहीं पहुंची एम्बुलेंस
छग
रायगढ़। "पंचधारी एनीकट से लगे ऐश्वर्यम कॉलोनी की एक गर्भवती महिला की कोख में पल रहे एक अजन्मे बच्चे का इसलिए करुणान्त हो गया, क्योंकि प्रसव पीड़ा से तड़प रही महिला के घर तक एम्बुलेंस नहीं पहुंच सकी। यही वजह है कि सड़क निर्माण की मांग करने वाली महिलाओं को कलेक्ट्रेट जाना पड़ा।" सूत्रों के मुताबिक व बोईरदादर से भगवानपुर-रेगड़ा जाने वाले मार्ग में पंचधारी एनीकट के पास बसा है ऐश्वर्यम कॉलोनी। आधुनिक य फ्लैट सिस्टम वाले ऐश्वर्यम कॉलोनी में पिंकी जैन नामक एक महिला गर्भवती थी। ऐसे में अचानक प्रसव पीड़ा शुरू होने पर परिजनों ने उसे अस्पताल ले जाने के लिए एम्बुलेंस बुलाई। व आपातकालीन स्थिति में एम्बुलेंस भी ऐश्वर्यम कॉलोनी जाने निकली, मगर बोईरदादर क्षेत्र से आने जाने वाली ट्रकों की रेलमपेल और खराब सड़क के कारण एम्बुलेंस बीच रास्ते में ही फंसी रही। नतीजतन, सही समय में एम्बुलेंस के घर तक नहीं पहुंचने से प्रसूता के गर्भ में पल रहे अजन्मे शिशु का असमय करुणान्त हो गया।
फिर क्या, इस घटना से उत्तेजित ऐश्वर्यम कॉलोनी की महिलाओं के सब्र का पैमाना छलकने पर वे शिकायत लेकर कलेक्ट्रेट जा पहुंची। महिलाओं ने पत्रकारों को बताया कि ऐश्वर्यम कॉलोनी भले ही निगम का वार्ड है, मगर यहां गांव से भी ज्यादा बदहाली का आलम है। बुनियादी सुविधा के नाम पर कुछ नहीं है। सर्किट हाउस से गोवर्धनपुर और बोईरदादर चौक से गोवर्धनपुर तक सड़क की जो दुर्दशा है, वह खतरनाक है। भारी वाहनों की लगातार आवाजाही से उड़ती धूल और ऊबड़-खाबड़ रास्ते के कारण इनका जीना दुश्वार है। अब तो एम्बुलेंस के भी कॉलोनी तक नहीं पहुंचने से हृदय विदारक घटना भी होने लगी है, जो बेहद चिंतनीय है। यही वजह है कि ऐश्वर्यम कॉलोनी की महिलाओं से कलेक्टर श्रीमती रानू साहू से मांग की है कि वे उनको बुनियादी सुविधाएं मुहैय्या कराने की दिशा में सकारात्मक पहल करें, ताकि भविष्य में इस तरह केस की पुनरावृत्ति न हो सके।