राजधानी में कूटरचना कर सरकारी जमीन बेच रहे भू-माफिया...!

Update: 2023-02-04 05:34 GMT

जसेरि रिपोर्टर रायपुर। राजधानी रायपुर में फर्जी दस्तावेज तैयार कर सरकारी जमीन को बेचने का मामला सामने आया है। जानकारी के मुताबिक जमीन के कागज महिला के नाम पर तैयार कर बेची गई और आठ लाख 66 हजार 799 रुपये की धोखाधड़ी की गई। दरअसल, खमतराई थाने में लताबाई साहू ने शिकायत दर्ज कराई है कि उसके नाम के फर्जी महिला को खड़ा कर फर्जी हस्ताक्षर करवाकर सरकारी जमीन बेची गई। इस मामले में पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। पुलिस ने जांच में पाया कि लताबाई साहू की ग्राम गोंदवारा के खसरा नंबर 563.1 रकबा 0.143 हेक्टेयर भूमि है। उसके बगल में शासकीय भूमि है। आरोपित रमेश कुमार साहू उर्फ पप्पू ने अपने साथी सत्तू राजपूत के साथ मिलकर शासकीय भूमि को लताबाई साहू की होना बताकर सम्होता थाना कोपा जिला छपरा बिहार निवासी रजित कुमार पंडित को बेच दिया। रजित ने रमेश कुमार साहू उर्फ पप्पू के खाते में नौ दिसंबर 2021, 10 दिसंबर 2021 और 14 दिसंबर 2021 को कुल 8,66,799 रुपये डाल दिए। इसके अलावा किसी दूसरी महिला को लताबाई के रूप में प्रस्तुत कर पीडि़त विजय वैष्णव का विक्रय विलेख निष्पादित किया गया। रमेश और सत्तू ने षडयंत्र पूर्वक किसी अन्य महिला को प्रस्तुत कर फर्जी दस्तावेज तैयार कर भूमि बेची और अर्थिक लाभ प्राप्त किया। साहू पारा फाफाडीह रायपुर निवासी लताबाई साहू (57) ने बताया कि ग्राम गोंदवारा मे लगभग 26,000 वर्गफुट उनकी कृषि भूमि थी। उसकी ऋण पुस्तिका है। उक्त भूमि के कुछ हिस्से को पूर्व में विक्रय कर चुकी है। वर्तमान में लगभग 14,000 वर्गफुट भूमि शेष है। प्रार्थी के बेटे प्यारे लाल साहू ने उसे बतया कि कुछ व्यक्तियों द्वारा साठगांठ कर फर्जी रूप से भूमि से लगी हुई शासकीय भूमि को प्रार्थिया का बताकर बेचा जा रहा है। इसके बाद जांच में जुटी पुलिस ने पाया कि फर्जी दस्तावेज और लताबाई की जगह दूसरी महिला को दिखाकर शासकीय जमीन बेची गई।

राजधानी में जमीन धोखाधड़ी का एक बडा मामला सामने आया है। जहां भूमाफियाओ ने एक कारोबारी को मृत बताकर उसका डेथ सार्टिफिकेट और फर्जी वसीयतनामा बनाकर करोड़ो की जमीन के फर्जी दस्तावेज तैयार कर अपने नाम करके उसको बेच दिया। बताया जा रहा है कि बिहार के बक्सर निवासी कारोबारी सुभाष गोयल की पंडरी स्थित 4 हजार 438 वर्गफीट जमीन थी। जिसको साल 2018 के बाद कोरोना काल के दौरान आरोपिया गंगा राय, कुंती नायक और प्रवीण कुमार साहु ने अपने अन्य साथियो के साथ मिलकर कारोबारी को मृत बताकर उनका एक फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र और फर्जी वसीयतनामा तैयार कर रायपुर जेएमएफसी कोर्ट को गुमराह कर अपने आप को जिंदा कारोबारी को मृत बताकर उसका रिश्तेदार बताया और जमीन नामातरंण का आदेश पारित करवा लिया। जिसके आधार पर रायपुर तहसील ऑफिस में भी बिना दस्तावेजो की जांच किये आरोपियो के नाम जमीन नामतंरित कर दी गई। इसके बाद शातिर भूमाफियाओ ने उस जमीन की रजिस्ट्री गंगा राय के नाम करवा ली। इस बात का खुलासा तब हुआ जब कारोबारी कोरोना काल खत्म होने के बाद अप्रैल 2022 में रायपुर आकर अपनी जमीन का प्रापर्टी टैक्स भरने तहसील कार्यालय पहुंचा। तब उनकी जमीन किसी अकबर खांन के नाम देखकर उनके पैरों के नीचे से जमीन खिसक गई। कारोबारी ने इसकी लिखित शिकायत रायपुर एसएसपी को दी। जिसके बाद सिविल लाइन थाना पुलिस ने इस शिकायत की जांच की तो पुलिस के भी होश इस बात से उड़ गये कि शातिर आरोपियो ने बड़े ही शातिराना ढ़ंग से जमीन के फर्जी दस्तावेज तैयार कर अपने नाम कराया और उसको बेच दिया। जिसके बाद सिविल लाइन थाने में गंगा राय, कुंती नायक और प्रवीण कुमार साहू समेत कई अन्य के खिलाफ धोखाधड़ी, सरकारी दस्तावेजों में कुटरचना समेत 120क्च की धाराओं में एफआईआर दर्ज कर आरोपियो की तलाश में जुटी है। फिलहाल पुलिस ने मामला दर्ज कर शातिर आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है।

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