74 हजार बेरोजगारी भत्ते के आवेदन ने सरकार के दावों की खोली पोल: अरुण साव
छग
रायपुर। भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष व सांसद अरुण साव ने कहा है कि प्रदेश सरकार युवा बेरोजगारों के साथ छल-कपट करने पर आमादा है। प्रदेश की भूपेश सरकार ने एक तो साढ़े चार वर्षों तक वादे के बावजूद युवकों को बेरोजगारी भत्ता नहीं दिया, और अब तमाम मुश्किल शर्तों के बावजूद आए 74 हजार आवेदनों में से 83 फीसदी आवेदन अस्वीकृत पड़े हैं। साव ने कहा कि बेरोजगारी भत्ते पर प्रदेश की कांग्रेस सरकार के राजनीतिक पाखण्ड का यह ताजा प्रमाण है। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष व सांसद साव ने कहा कि छत्तीसगढ़ में बेरोजगारी भत्ता योजना के तहत अब तक 74 हजार से ज्यादा आवेदन प्राप्त हो चुके हैं। बेरोजगारी भत्ते को लेकर, पूरे परिवार के बेरोजगार होने 12वीं उत्तीर्ण होने, 2 साल पूर्व पंजीयन होने, परिवार की आय ढाई लाख से ज्यादा नहीं होने जैसे कई अन्य जटिल नियम कायदे कानून होने के बावजूद 74 हजार युवाओं ने इस हेतु आवेदन किया है इससे स्पष्ट है कि प्रदेश में कितनी रिकॉर्ड तोड़ बेरोजगारी कांग्रेस के कुशासन की वजह से है।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष व सांसद साव ने कहा कि बेरोजगारी भत्ता के लिए प्रदेश सरकार ने जो जटिल नियम व शर्तें तय की थीं, उसके बावजूद 74 हजार आवेदन अब तक आना मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के प्रदेश में बेरोजगारी नहीं होने के दावे को कोरा झूठ साबित करने के लिए पर्याप्त है, साव ने कहा कि बेरोजगार युवकों को इस प्रदेश सरकार ने एक तो रोजगार नहीं दिया, उस पर बेरोजगारी भत्ता देने में भी उसका छलावा सामने आ रहा है। साव ने कांग्रेस के जन घोषणा पत्र का हवाला देकर कहा कि कांग्रेस ने 10 लाख नौजवानों को बेरोजगारी भत्ता या फिर रोजगार देने का वादा किया था, लेकिन न तो युवकों को रोजगार मिला और न ही बेरोजगारी भत्ता। घोषणा पत्र समिति के अध्यक्ष टीएस सिहदेव ने तत्कालीन राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी व प्रदेश के प्रभारी पी एल पुनिया को मीडिया के सामने बताया था कि प्रतिवर्ष बेरोजगारी भत्ता जिसे वह स्टाइपेंड कहेंगे उस हेतु 3 हजार करोड़ का प्रावधान बजट में करेंगे ,लेकिन प्रदेश के युवाओं को अब तक एक फूटी कौड़ी नहीं मिली छत्तीसगढ़ के युवाओं का कांग्रेस शासन के 5 वर्षों का 15 हजार करोड़ रूपया कांग्रेस सरकार दबा कर बैठ गई है।गौरतलब है कि प्रदेश में इस वक्त लगभग 18 लाख पंजीकृत बेरोजगार है।