बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के आबकारी अधिनीयम के तहत 21 वर्ष के कम युवक-युवतियों को शराब बेचना अपराध है और इस नीयम का कड़ाई से पालन कराने के लिए बिलासपुर में जितने भी बार, होटल में शराब दी जाती है, सभी को इस नीयम का कड़ाई से पालन करने के लिए आदेश जारी किए हैं: बिलासपुर SSP पारुल माथुर
छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में अब बार में आईडी चेक कर एंट्री दी जाएगी। तय सीमा से कम उम्र के लड़के-लड़कियों को बार में एंट्री देने और शराब पिलाने वाले बार के मैनेजर और संचालक के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। ऐसे ही अब रात 12 बजे के बाद बार खुला होने पर भी मैनेजर और संचालक के खिलाफ केस दर्ज किया जाएगा। साथ ही बार का लाइसेंस निरस्त करने के लिए कलेक्टर से अनुशंसा की जाएगी। SSP पारुल माथुर में शहर में बढ़ते अपराध पर अंकुश लगाने के लिए शहर के 18 बार संचालकों को यह निर्देश जारी किया है।
पिछले कुछ समय से आपराधिक गतिविधियों में नाबालिगों के शामिल रहने की घटनाएं सामने आ रही हैं। इसके साथ ही मारपीट, गुंडागर्दी जैसी घटनाओं में नशा ही मुख्य कारण बनता जा रहा है। आमतौर पर रात में शराब पीकर घूमने वाले लड़कों के बीच ही मारपीट की ज्यादातर घटनाएं हुई हैं, जिसे गंभीरता से लेते हुए SSP पारुल माथुर ने सभी बार संचालकों को सख्त निर्देश जारी किया है। इसमें उन्हें बार के लाइसेंस की सभी शर्तों पर सख्ती से अमल करने की चेतावनी दी गई है।
पारुल माथुर ने बताया कि पिछले कुछ समय से यह देखने को मिला है कि ज्यादातर आपराधिक गतिविधियों में नाबालिग शामिल रहते हैं और वे शराब के नशे में ऐसे गतिविधियों में लिप्त हो जाते हैं। इसकी पड़ताल करने पर पता चला कि कुछ बार में नाबालिगों को भी एंट्री दी जाती है और उन्हें शराब भी परोसी जाती है। छत्तीसगढ़ आबकारी एक्ट में स्पष्ट प्रावधान है कि नाबालिगों को शराब नहीं बेचना है। ऐसे ही यह भी नियम है कि दोपहर 12 से रात 12 बजे तक ही बार खुले होने चाहिए। नाबालिगों को नशे व अपराध से दूर रखने के लिहाज से सभी बार संचालकों को निर्देश दिया गया है और उन्हें आईडी देखकर लड़के-लड़कियों को एंट्री देने के आदेश दिए गए हैं। इन नियमों का उल्लंघन करने पर बार संचालकों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।