समूह की महिलाओं के हर्बल गुलाल से रंगेगा नारायणपुर

Update: 2022-03-17 10:20 GMT

नारायणपुर: नारायणपुर जिले में इस बार होली स्व सहायता समूह की महिलाओं द्वारा तैयार किये गये हर्बल गुलाल से मनेगी या यह कहें कि इस बार समूह की महिलाओं द्वारा बनाये गये हर्बल गुलाल से रंगेगा नारायणपुर। रसायनिक रंगों के दुष्प्रभावों को ध्यान में रखते हुए नारायणपुर जिले की स्व सहायता समूह की महिलाओं ने हर्बल गुलाल तैयार किया है, ताकि रसायनिक रंगों के उपयोग से होने वाले नुकसान से बचा जा सके। समूह की महिलाओं ने बात करने पर उन्होंने बताया कि रायपुर में 11 से 14 मार्च तक आयोजित अंतर्राष्ट्रीय किसान मेला में 45 किलोग्राम गुलाल का विक्रय भी कर चुकी हैं। इस बार राजधानी रायपुर के लोग नारायणपुर के हर्बल गुलाल से होली खेलेंगे। वहीं नारायणपुर जिले में कलेक्ट्रेट के सामने दुकान लगाकर हर्बल गुलाल का विक्रय कर रही है। नगर वासियों की ओर से हर्बल गुलाल को अच्छा प्रतिसाद मिल रहा है। इसके अलावा कृषि विज्ञान केंद्र में विक्रय हेतु हर्बल गुलाल उपलब्ध हैं। उन्होंने बताया कि इस वर्ष अभी तक लगभग 2 क्विंटल गुलाल तैयार कर चुकी हैं। जिसका विक्रय वे कर रही है।

रासायनिक गुलाल से सजे रंगीन बाजार के बीच ग्राम पालकी नारायणपुर की राधा कृष्ण स्व-सहायता समूह की महिलाएं त्वचा के लिए हानि रहित वनस्पतियों एवं फल-फूल के प्राकृतिक रंगों से हर्बल गुलाल का निर्माण कर रहीं है। बीते वर्ष कृषि विज्ञान केंद्र से जनजातीय उपयोजना अंतर्गत प्रशिक्षित एवं वित्तीय सहायता प्राप्त स्व-सहायता समूह की महिलाएं इस वर्ष अपने बूते से आत्मनिर्भर होकर स्वयं आगामी होली की तैयारी को लेकर हर्बल गुलाल का निर्माण कर रही है और अतिरिक्त आय कमाकर अपने समुदाय में अपनी पहचान बना रही हैं एवं दूसरों के लिए प्रेरणा बन रही हैं। पिछली होली में 10 दिवस में 45 से 50 हजार का मुनाफ़ा कमा चुकी।
कृषि विज्ञान केंद्र द्वारा ग्राम पालकी की राधा कृष्ण स्व-सहायता समूह का चयन कर उन्हें गुलाल निर्माण की शरू से अंत तक प्रक्रिया एवं निर्माण कार्य के दौरान उपयोग में लाइ जाने वाली सामग्रियों एवं मशीनों के परिचालन व गुलाल के पैकेजिंग से लेकर मार्केटिंग तक के संबंध में विस्तृत जानकारी देते हुए प्रशिक्षित किया गया। यह गुलाल पूर्णतः हानि रहित एवं सभी उम्र के लोगो के उपयोग हेतु सुरक्षित है।

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