कचना-खम्हारडीह ओवरब्रिज को मंजूरी
केंद्र से 48 करोड़ की प्रशासकीय स्वीकृति मिली, आसान होगा आवागमन
जसेरि रिपोर्टर: रायपुर। 10 वर्षों से भी अधिक समय की मांग के बाद आखिरकार कचना-खम्हारडीह रेलवे लाइन पर ओवरब्रिज को हरी झंडी मिल चुकी है। यहां अंडरब्रिज नहीं, बल्कि ओवरब्रिज का निर्माण होगा। इस प्रोजेक्ट के लिए केंद्र सरकार के सड़क परिवहन मंत्रालय ने 48 करोड़ रुपये की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की है। निर्माण की जिम्मेदारी लोक निर्माण विभाग की होगी।
इस ओवरब्रिज के निर्माण से लगभग 100 अलग-अलग कालोनियों के साढ़े तीन लाख लोगों को बड़ी राहत मिलेगी। अभी वाल्टेयर लाइन रेलवे क्रासिंग होने की वजह से यहां रोजाना 130 से 150 ट्रेनों का आना-जाना होता है, जिसमें 10 से 15 मिनट का इंतजार लोगों को करना पड़ रहा है। आवासीय, शैक्षणिक, व्यावसायिक, सार्वजनिक और अर्धसार्वजनिक प्रोजेक्ट होने की वजह से यहां लगातार आबादी का विस्तार हुआ है। अधिकारियों के मुताबिक ओवरब्रिज के लिए तीन से चार वर्ष तक लगातार कवायद के बाद यह सौगात मिली है। इससे पहले रेलवे और पीडब्ल्यूडी ने मिलकर योजना तैयार की थी, लेकिन तकनीकी कारण और बजट के अभाव में यह प्रोजेक्ट पूरा नहीं हो पाया है। राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारियों के मुताबिक बजट पीडब्ल्यूडी को हस्तांतरित होगा। प्रशासकीय स्वीकृति मिलने के बाद शीघ्र ही टेंडर की प्रक्रिया जारी होगी।
कचना-खम्हारडीह ब्रिज नहीं बनने की वजह से लोगों को अभी शंकरनगर- आकाशवाणी के आगे निर्मित ओवरब्रिज से घूमकर कचना पहुंचना पड़ रहा है। ब्रिज के बनने के बाद वाहनों की लंबी कतार और ट्रैफिक जाम से लोगों को राहत मिलेगी। यहां वर्तमान में 10 बड़ी आवासीय कालोनियों का निर्माण जारी है। यहां पिरदा तक कई बड़े रियल एस्टेट प्रोजेक्ट लांच हो चुके हैं।
ओवरब्रिज के निर्माण से खम्हारडीह, कचना के आसपास के इलाके जैसे निजी टाउनशिप, अपार्टमेंट, कालोनियों के साथ कचना हाउसिंग बोर्ड, पिरदा, तुलसी बाराडेरा, जोरा, चंडीनगर, पार्वती नगर, भावना नगर आदि क्षेत्र के निवासियों को सौगात मिलेगी। यहां रेलवे क्रासिंग पार करके रोजाना चार वार्डो के निवासियों का आना-जाना लगा रहता है। आपातकालीन स्थिति में रेलवे क्रासिंग बंद होने से अभी लोगों को तकलीफों का सामना करना पड़ता है।
राष्ट्रीय राजमार्ग मुख्य अभियंता (पीडब्ल्यूडी) केके पिपरी ने कहा, कचना-खम्हारडीह ओवरब्रिज के लिए केंद्र सरकार से 48 करोड़ रुपये की प्रशासकीय स्वीकृति मिल चुकी है। निर्माण कार्यों के लिए शीघ्र ही टेंडर जारी किया जाएगा।प्रोजेक्ट का नाम- कचना-खम्हारडीह ओवरब्रिज,निर्माण एजेंसी-पीडब्ल्यूडी, फंड-केंद्रीय सड़क एवं अवसंरचना निधि (सीआरआइएफ),कुल लागत-48 करोड़ की प्रशासकीय स्वीकृति,कुल लंबाई-750 मीटर,ब्रिज की चौड़ाई-13 मीटर, रोजाना गुजरने वाली ट्रेनें-130-150,3 वार्ड- साढ़े तीन लाख, आबादी को मिलेगी राहत।
तीन साल के भीतर निर्माण
कचना-खम्हारडीह के आसपास कई बड़ी कालोनियां हैं। स्थानीय जनप्रतिनिधियों का कहना है कि ओवरब्रिज बनने के बाद रायपुर से नवा रायपुर तक का जुड़ाव भी आसान होगा। खम्हारडीह से कचना के आगे पिरदा होते हुए नवा रायपुर में आने-जाने के लिए लोगों को रेलवे फाटक पर इंतजार नहीं करना पड़ेगा। पीडब्ल्यूडी राष्ट्रीय राजमार्ग इकाई के अधिकारियों के मुताबिक तीन वर्ष के भीतर ब्रिज की सौगात लोगों को मिल जाएगी।