विनोद वर्मा और रामगोपाल की दादागिरी का राज अरुण सिसोदिया ने खोला
नोटिस के बाद फूटा स्पष्टीकरण बम, बताया क्या हुआ था 5 सितारा होटल में
भूपेश दाऊ कि दाग़ी और दाग़दार टीम के साथ लोक सभा में उतरने की मंशा राजनीतिक समझ से परे कांग्रेस पार्टी की अंतिम कि़ले तौर पर छत्तीसगढ़ को हराने के बाद समझ से परे है कि दुर्ग जि़ले से तीन प्रत्याशी को दूसरे जि़ले में दूसरे संभाग में जाकर चुनाव लडऩे की ज़रूरत क्या है? और क्यों राम गोपाल टूटेजा की डायरी के अनुसार करोड़ों का लेन देन इन्ही सब साथियों के साथ मिलकर आला कमान के बड़े नेताओं को विगत चार पाँच सालों में पहुंचाया गया जिसका पूर्ण विवरण टुटेजा औरराम गोपाल की डायरी में है। ग़ौरतलब है कि रामगोपाल का एकाउंटेंट दीपक डड़सेना दो साल से से लापता है और संभवत उसकी मौत भी हो सकती है। लाश अभी भी नहीं मिली है और न ही पता ठिकाना भी नहीं है। सभी की मिलीभगत होने के कारण कांग्रेस पार्टी को धोखे में रखकर बड़े नेताओं को ब्लैकमेल कर सारा खेल रचा गया है। यही सब हरकतों के चलते आम कार्यकर्ता रूठकर घर में बैठ गया है। और उसे समझ में नहीं आ रहे हुए क्या करे सभी कार्यकर्ताओं का मनोबल डूब गया है। बड़े नेता अपने स्वार्थ के लिए पार्टी कार्यकर्ताओं को नौकरों जैसा व्यवहार करते हैं। सत्ता में आने के उपरांत पूछपरख नहीं होने के कारण कार्यकर्ता नाराज़ और रूठ कर घर बैठना ही उचित समझ रहे हैं। कथाकथित बड़े फर्जी नेता सत्ता के दौरान बड़े लेनदेन कर कार्यकर्ताओं को छोटे-छोटे कार्यों से वंचित रखा जिसके कारण आज कार्यकर्ता घर से निकलना पसंद नहीं कर रहा है। आगामी चुनाव में कांग्रेस की बड़ी मुसीबत के रूप में देखने को मिलेगी।
रायपुर। अरुण सिंह सिसोदिया ने दीपक बैज को नोटिस का जवाब दिया है। जिसमें उन्होंने विनोद वर्मा और रामगोपाल की दादागिरी का भी जिक्र किया है। स्पष्टीकरण में कहा...
1. मै अरुण सिंह सिसोदिया, जो कि पार्टी से 20 वर्षो से जुड़कर कार्य कर रहा हूँ, पार्टी के विभिन्न पदों पर रहते हुए महत्वपूर्ण जिम्मेदारियाँ निभाता आ रहा हूँ, वर्तमान में मैं AICC सदस्य हूँ ।
2. यह की आप द्वारा प्रदत नोटिस नियमतः AICC बायलोज के विपरीत है, आप के अधिकार छेत्र से बाहर है, परन्तु आपका व्यक्तिगत सम्मान व पद की गरिमा का सम्मान करते हु मैं आप के नोटिस के सन्दर्भ में अपना स्पष्टीकरण प्रेषित कर रहा हूँ ।
3. यह कि अनुशासत्मक कार्यवाही AICCके नियम की धारा ( a ) व (b) अंतर्गत आपके अधिकार क्षेत्र की परिधि में नहीं है ।
4. परन्तु आप आदरणीय के पत्र के सम्बंध में मेरा यह कथन है, कि मेरे द्वारा 18/03/2024 को एक पत्र आपके नाम व राष्ट्रीय अध्यक्ष मलिकार्जुन खडगे जी व श्री राहुल गाँधी जी के नाम प्रेषित किया गया, जिसमें सभी बिन्दु व शिकायत तथ्यों के साथ प्रेषित किया गया है | 5. यह कि, मेरे द्वारा पत्र अपने प्रदेश अध्यक्ष, राष्ट्रीय अध्यक्ष व सभी बड़े नेतृत्व के What's- up, Speed Post, Mail से भेजा गया, जो संगठन का निजी व आतंरिक पत्र है, इसे सार्वजनिक व मीडिया में किसने किया, ये पता करने का विषय है, यह मै स्पष्ट करना चाहता हूँ, कि मेरे द्वारा सार्वजनिक व मीडिया को नहीं दिया गया है, चुंकि मैं रायपुर के किसी मीडिया कर्मी को जानता ही नहीं हूँ, और अगर मेरे द्वारा किया जाना बताया गया है, तो कृपया साक्ष्य प्रस्तुत किया जाना चाहिए।
6. यह की 5 करोड़ 89 लाख के टेसू मीडिया लैब की सोसल मीडिया मैनेजमेंट का ठेका दिए जाने का समाचार पत्रों में या पब्लिक में छपवाने का आरोप है वह आरोप पूर्णतः गलत, निराधार व भ्रामक है। की यह मेरे द्वारा किया गया कार्य है। जबकि मेरे द्वाराकिसी मीडिया में या सार्वजनिक नहीं किया गया है।
7. यह की उक्त समाचार का विषय दिनाक 08/02/2024 व 09/02/2024 की कई समाचार पत्रों व सोसल मीडिया पोर्टल में चल चूका व छप चुका है, अतः यह कोई मेरे द्वारा किया गया कार्य नहीं बल्कि जो समाचार पत्र में छपे अखबार व राम गोपाल अग्रवाल व टेसू मीडिया के समझौतों की कॉपी सलग्न कर मैंने स्पीड पोस्ट व वाट्सअप में संबंधित लोगो को भेजा था, इसलिए मेरे द्वारा किसी भी अखबार या सोसल मीडिया में नहीं दिया गया है ।
8. जबकि मुख्य विषय यह है, कि बिना टेंडर के 5.89 लाख का कार्य एक 10 लाख का एसेट वाली एक छोटी कम्पनी को दिया गया था, जो कार्य सम्पूर्ण रूप से 3 लाख में पुरी क्षमता व दक्षता से किया जा सकता था, जिसका की संगठन का पैसा बचाने के लिए टेंडर कर अनुभवी व सबसे कम दर वाली कम्पनी को कार्य दिया जाना था, वो कार्य 19 लाख रूपए प्रतिमाह में ठेका देकर अपनी मनमर्जी से अपने मित्रो को दे दिया गया, साथ ही प्रदेश कांग्रेस कमेटी राजीव भवन के बिल व कर्मचारीयों का वेतन देना, पैसे के अभाव में मुस्किल हो गया है, जबकि सर्वविदित है, की ब्लाक अध्यक्ष जिलाध्यक्ष 5-10 हजार रूपए संगठन के कार्यो के लिए तरसते रहे और उनको नहीं दिया गया, ऐसे में यह संगठन के पैसे की बर्बादी है, इसलिए एक कार्यकर्ता होने के नाते मेरा कर्तव्य है, की अध्यक्ष और संगठन के संज्ञान में बात लायी जाए । जबकि मुख्यमंत्री जी के प्रचार का सम्पूर्ण व्यवस्था व खर्च वहन छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा किया जाता था।
9. यह भी अनुचित है, कि यह काम बिना किसी Quotation के पूर्व मुख्यमंत्री के साले के बेटे को ही क्यों किया गया। चार साल का बैंक स्टेटमेंट निकलवा कर इसकी जाँच की जानी चाहिए, और भी कई अनियमित भुगतान हुए हैं। 6 महिनों से कोषाध्यक्ष और हमारा PCC के Account की भी जाँच होनी चाहिए । राजीव भवन के नाम से कई उगाही की जाँच होनी चाहिए। संगठन चुनाव में हुए सारे कागजात और दस्तावेज, जो कि रामगोपाल और विनोद वर्मा ने Babylon Hotel के एक कमरे में दादागिरी से रख लिए थे, उसे PCC में लाना चाहिए ।
10. आपके व्दारा दिए गया पत्र कैसे लीक हुआ, इसकी एक समिति बनाकर जाँच की माँग करता हूँ ।
11. PCC को हुए नुकसान की भरपाई रामगोपाल अग्रवाल और विनोद वर्मा से करने की माँग करता हूँ ।
12. पार्टी कार्यकर्ता को Sleeper Cell कहकर उनका अपमान करने पर भूपेश बघेल पर अनुशासनात्मक कार्यवाही करने की माँग करता हूँ।
13. मेरे द्वारा ऐसा कोई कार्य नहीं किया गया है, जिससे पार्टी की छवि धुमिल और मेरा पत्र व कार्य अनुशासनहीनता की श्रेणी में नहीं आता है।