महासमुंद। छत्तीसगढ़ के आकांक्षी जिलों में शामिल महासमुंद ज़िले विकासखण्ड बसना के गौठान कुदारीबाहरा में बीते शनिवार को पशुधन जागृति अभियान अन्तर्गत एक दिवसीय जागरूकता कार्यशाला कार्यशाला का आयोजन किया गया। यह आयोजन केंद्र व छत्तीसगढ़ सरकार के पशुधन विकास विभाग और दाऊ श्री वासुदेव चंद्राकार कामधेनु विश्वविद्यालय दुर्ग के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित हुआ। शिविर में 150 से पशुपालकों शामिल हुए। कार्यशाला के प्रथम भाग में सुबह निःशुल्क पशु चिकित्सा सह बांझपन शिविर पशु उपचार 248 कृमि नाशक दवा पान 148 जु किलनी नाशक दवापान 146 बांझपन उपचार 71 पशुओं का किया गया।
कार्यशाला के द्वितीय चरण में दोपहर 12 बजे से पशुपालकों के लिए कार्यशाला का आयोजन किया जिसमें 150 से अधिक पशुपालकों ने अपनी सहभागिता दर्ज कराई उक्त कार्यशाला को कामधेनु विश्वविद्यालय दुर्ग से आए निदेशक विस्तार सेवा डॉ संजय शाक्य व प्राध्यापक डॉ एम के अवस्थी, मादा पशु रोग एवं प्रसूति विज्ञान विभाग ने संबोधित करते हुए पशुपालकों को उनके पशुओं को बांझपन से बचाने सलाह देते हुए बच्चा जनने से 2 माह पूर्व ही संतुलित पशु आहार प्रदाय करने एवं बच्चा जनने के बाद गाय को तत्काल कृमिनाशक दवापान करवाने सलाह दी। पशुधन विकास विभाग के उपसंचालक डॉ आर एस पांडे ने पाशुपालको को संबोधित करते हुए पशुपालन को आय का अतिरिक्त जरिया बनाने की सलाह दी। उक्त शिविर में ग्राम कुदारीबाहरा के जनप्रतिनिधिगण, कामधेनू विश्विद्यालय के विषय विशेषज्ञ,पशुधन विकास विभाग के विषय विशेषज्ञ व सभी मैदानी अमले उपस्थित रहे।