शराब तस्कर को पैसे लेकर छोड़ने वाले अधिकारियों को सरकार ने किया बर्खास्त

बिहार में शराबबंदी में लागू है. इसके बाद भी यहां जहरीली शराब की तस्करी हो रही है.

Update: 2022-04-15 07:34 GMT

बिहार में शराबबंदी में लागू है. इसके बाद भी यहां जहरीली शराब की तस्करी हो रही है. सरकार जहरीली शराब की तस्करी रोकने की हर संभव कोशिश कर रहे हैं. इसके बाद भी कुछ अधिकारी इन लोगों की मदद कर रहे हैं. जिन पर अब राज्य सरकार ने बड़ा एक्शन लिया है.

नीतीश सरकार ने पैसे लेकर शराब के साथ पकड़े गए व्यक्ति को छोड़ने के लिए दरोगा समेत तान कर्मियों को बर्खास्त कर दिया है. इन सभी के खिलाफ शराब के साथ पकड़े जाने वाले शख्स से पैसे लेकर छोड़ने का इल्जाम है. एक मद्यनिषेध विभाग के सिपाही को भी बर्खास्त कर दिया गया.
कुछ इसी का मामला पहले भी सामना आया था. जहां पर दरोगा ने एक युवक को शराब के साथ पकड़ा था. हालांकि बाद में कुछ पैसे लेकर छोड़ दिया था. ये मामला तीन साल पुराना है. इस मामले में मद्यनिषेध और उत्पाद विभाग ने जांच के दौरान दोषी पाए गये लोगों को बर्खास्त करने का आदेश जारी कर दिया था. दोषी पाये गये लोगों में अवर निरीक्षक अनूप कुमार, सहायक अवर निरीक्षक मो. शोहराब आलम और मद्यनिषेध सिपाही अविनाथ कुमार को बर्खास्त कर दिया गया था. वहीं, शराब तस्करों की मदद करने वाले अफसरों में दोषी पाये गये मद्यनिषेध सिपाही सुधांशु कुमार को भी बर्खास्त कर दिया गया है.
इसके अलावा कुछ ऐसे अफसरों का भी पता चला है, जो खुद अपने घरों में शराब का धंधा चला रहे हैं. इस मामलें में एएसआइ जयशंकर पर कार्रवाई की गई है. उनके अगले तीन साल की वेतन वार्षिक वृद्धि पर रोक लगा दी गई है.. इसके साथ ही दो और अधिकारियों की वेतनवृद्धि पर रोक लगा दी गई है. जिसमें से सारण के मद्यनिषेध निरीक्षक अशोक कुमार और गया के मद्यनिषेध सिपाही शशि ऋषि को सजा दी गई है.
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