पटना: स्वास्थ्य सचिव सह राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यपालक निदेशक (ईडी) संजय कुमार सिंह ने कहा है कि राज्य के स्वास्थ्य संस्थानों में जरूरत के अनुसार जांच उपकरणों की खरीदारी होगी.
उपकरणों का आकलन 30 अगस्त कर कर लिया जाएगा. सभी क्षेत्रीय बायोमेडिकल इंजीनियरों के साथ प्रशिक्षण कार्यशाला में ईडी ने कहा कि अस्पतालों में कितने उपकरण होने चाहिए, यह तय है. लेकिन यह देखा जा रहा है कि स्वास्थ्य संस्थानों की ओर से और अधिक उपकरणों की मांग की जा रही है. इसलिए यह जरूरी है कि जांच उपकरणों का आकलन कर लिया जाए. संस्थानों को कितने उपकरण की आवश्यकता है, इसका ब्योरा ऑनलाइन देने को कहा गया है. किसी संस्थान में अगर विशेषज्ञ चिकित्सकों की पोस्टिंग नहीं है तो वहां विशेषज्ञ आधारित चिकित्सकीय सेवाओं के उपकरणों की खरीदारी नहीं होगी.
कार्यशाला में राज्य स्वास्थ्य समिति के परामर्शी खालिद अरशद, सहायक निदेशक मनीष रंजन, आलोक कुमार, नवीन्द्र कुमार, सुनील कुमार, विभूति रंजन, सावित्री पंडित, दीपक कुमार, श्रुति परीदा, संजय कुमार, साक्षी कुमारी, सूरज कुमार सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे.
पंचायती राज प्रतिनिधियों के खाते में जाएगा मासिक भत्ता
राज्य सरकार अब त्रिस्तरीय पंचायती राज संस्थाओं एवं ग्राम कचहरी के निर्वाचित जनप्रतिनिधियों को उनके नियत मासिक भत्ते का भुगतान सीधे उनके बैंक खाते में करेगी. सरकार अपने इस निर्णय को लेकर तमाम जनप्रतिनिधियों के बैंक खाते को एकत्रित कर उन्हें पीएफएमएस पोर्टल से जोड़ रही है. इस प्रयास के फलाफल भी अब आने लगे हैं.
जानकारी के मुताबिक अबतक राज्य के कुल 2 लाख 46 हजार 948 जनप्रतिनिधियों में से 2 लाख 15,585 जनप्रतिनिधियों के बैंक खाते में नियत मासिक भत्ते का भुगतान किया जा चुका है. इस प्रकार विभाग की मानें तो तकरीबन 90 फीसदी जनप्रतिनिधियों के मासिक भत्ते का भुगतान उनके बैंक खाते में होने लगा है. शेष जनप्रतिनिधियों के लिए भी कवायद चल रही है. इसको लेकर जून में ही जिलों को स्पष्ट कर दिया गया था कि त्रिस्तरीय पंचायती राज संस्थाओं एवं ग्राम कचहरी के निर्वाचित जनप्रतिनिधियों का दिसम्बर 2022 के पूर्व मासक भत्ते की बकाया राशि भुगतान करने के लिए संबंधित जनप्रतिनिधियों के सत्यापित बैंक खातों का पीएफएमएस पोर्टल पर बेनीफिशरी के रूप में ‘वन टाइम पेमेंट फाइल जेनरेशन’ का कार्य शीघ्र करें.