प्रशांत किशोर ने नीतीश कुमार को लेकर किया बड़ा दावा, जानिए ?

Update: 2022-10-21 12:53 GMT
प्रशांत किशोर 2 अक्टूबर से जन सुराज यात्रा पर हैं लक्ष्य है ऐसे लोगों को राजनीति में लाना जिसके सहारे बिहार की राजनीति को बदला जा सके।प्रशांत किशोर के स्वर में मैं समाज को मथने निकला हंू ताकि बिहार की राजनीति जो एक मोड़ पर आकर ठहर सा गया है उसको गतिमान किया जा सके।
लेकिन अभी तक की यात्रा में प्रशांत किशोर का वो तीन बयान सबसे अधिक चर्चा में रहा उसमें नीतीश के उम्र ,तेजस्वी का शैक्षणिक योग्यता और कल का बयान नीतीश राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश जी के सहारे बीजेपी के साथ रिश्ता बनाए हुए हैं और कभी भी उस और जा सकते हैं। इस बयान का मतलब क्या है .या फिर इस तरह के बयान के सहारे बिहार में क्या मथना चाहते हैं क्यों कि पूरी यात्रा के दौरान नरेन्द्र मोदी, संघ और बीजेपी को लेकर थोड़ा सोफ्ट चेहरा दिखाते है इनका एक बयान बूलेट ट्रेन गुजरात को ही मिलेगा चर्चा में है।
लेकिन यात्रा की शुरूआत गाँधी के प्रार्थना से करते हैं गांधी की तस्वीर का इस्तेमाल करते हैं ।लेकिन आये दिन जिस तरीके से गांधी को लेकर बयान आ रहा है,गोडसे को महिमामंडित किया जा रहा है उस पर सवाल करने पर ये चुप्पी साध लेते हैं। वही बात हिन्दू मुसलमान की होती है तो उससे साफ बचते दिखते हैं तो ऐसे में उनकी यात्रा का मकसद क्या है इस पर मंथन होना स्वाभाविक है ।
लालू और नीतीश पर बीजेपी पहले से ही हमलावर है ऐसे में प्रशांत किशोर के हमला का मतलब क्या है जानकारी बताते हैं कि जन सुराज यात्रा के सहारे प्रशांत किशोर जहां तक पहुंच रहे हैं वहां बीजेपी की उस तरह से पहुंच नही है।
प्रशांत किशोर की यात्रा के दौरान वो सबसे ज्यादा महिला वोटर को टारगेट कर रहे हैं साथ ही अति पिछड़ी जाति के गांव को सबसे ज्यादा फोकस कर रहे हैं इसका कितना असर पड़ेगा फिलहाल कहना मुश्किल है लेकिन बिहार में प्रशांत किशोर के सहारे वैकल्पिक राजनीति की चर्चा जरुर शुरु हो गयी
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