Katihar: एएनएम के 813 स्वीकृत पदों में 502 पद हैं खाली, मिले केवल आठ एएनएम

"335 का किया गया था तबादला पर जिले को मिले केवल आठ एएनएम"

Update: 2025-01-07 05:59 GMT

कटिहार: इन दिनों स्वास्थ्य विभाग एएनएम की कमी का दंश झेल रही है. एक ओर जहां स्वास्थ्य योजनाओं का फिल्ड वर्क की गति धीमी हो गई है. विभिन्न योजनाओं का क्रियान्वयन करने में स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को काफी परेशानी हो रही है. वहीं आम लोगों को भी स्वास्थ्य योजनाओं का लाभ लेने में काफी दिक्कतें हो रही है. सबसे अधिक परेशानी नियमित टीकाकरण अभियान हो रहा है. जिन प्रखंड में एएनएम की संख्या काफी कम है. वहां पर दो व तीन एएनएम के स्थान पर एक से और जहां पर तीन से ज्यादा ज्यादा हैं, वहां पर दो एएनएम का सहयोग लिया जा रहा है. सदर अस्पताल की हाल तो पूछिए मत, यहां तो निजी और सरकारी एएनएम ट्रैनिंग सेंटर से प्रशिक्षण प्राप्त करने आये एएएनम ही रोगियों को हर संभव मदद कर रहे हैं. क्योंकि सदर अस्पताल से भी तीन एएनएम के बदले एक संविदागत एएनएम या फिर ट्रैनी छात्रों का सहारे इलाज के लिए मदद किया जा रहा है. स्वास्थ्य विभाग के एक रिपोर्ट के अनुसार जिले में 813 पद स्थायी एएनएम का पद स्वीकृत है. जिसमें 502 एएनएम का पद खाली है. इस कारण से सभी प्रखंड के पीएचसी में एएनएम की कमी रहने से स्वास्थ्य योजनाओं का क्रियान्वयन समय पर नहीं हो पा रहा है. सबसे अधिक एपीएचसी और उप स्वास्थ्य केंद्र को संचालित करने में दिक्कतें होती है.

335 का हुआ था स्थानांतरण मगर मिला केवल 8 एएनएम जिला को : स्वास्थ्य विभाग के अनुसार जिले के विभिन्न प्रखंडों और जिला अस्पताल से कुल 335 एएनएम व जीएनएम का स्थानांतरण किया गया था. ट्रांसफर के बाद सभी एएनएम को विरमित करने के आदेश राज्य मुख्यालय से किया गया था. स्वास्थ्य प्रबंधन द्वारा राज्य मुख्यालय से स्थानांतरित किये गये सभी एएनएम को विरमित किया गया है.

इसके बाद अन्य जिलों से मात्र 7 से 8 एएनएम जिला मुख्यालय को भेजा गया है. इससे परेशानी हो रही है.

कई उप स्वास्थ्य केंद्र है बंद: एएनएम के कंधे पर ही उप स्वास्थ्य केंद्र के संचालन की जिम्मेदारी रहती है. एएनएम ही उप स्वास्थ्य केंद्र का समुचित संचालन करती है. मगर एएनएम का पद खाली रहने के कारण कई उप स्वास्थ्य केंद्र बंद रहता है. टीकाकरण व अन्य योजनाओं को जमीन पर उतारने में विभागीय अधिकारियों को काफी परेशानी होती है.

अस्पताल जहां पर संविदागत एएनएम के भरोसे होता है योजना का क्रियान्वयन: पिछले 2023 के दिसंबर में एएनएम का बड़े पैमाने पर एएनएम का तबादला कर दिया गया था. मगर जिले को एएनएम मात्र आधा दर्जन से अधिक ही मिला है. इससे जमीन पर स्वास्थ्य योजनाओं को उतारने में काफी परेशानी होती है. एएनएम की कमी से उत्पन्न समस्याओं से राज्य स्वास्थ्य समिति को अवगत कराया गया है और एएन

- डॉ.जितेंद्र नाथ सिंह, सिविल सर्जन, कटिहार.

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