
बिहार | पटना शहरी और आसपास के ग्रामीण इलाके में अगले साल भी गर्मी सताएगी. बिजली कंपनी ने गर्मी से राहत के लिए जिन 12 पावर सबस्टेशनों को बनाने का लक्ष्य इस साल का रखा था वह पूरा ही नहीं हो सका है. 12 पावर सब स्टेशनों में दो अब तक बने हैं. तीन का काम चल रहा है. बिजली कंपनी के अनुसार इस साल के अंत तक तीनों को चालू कर दिया जाएगा. बचे सात सब स्टेशनों में पांच टेंडर की प्रक्रिया में और दो जमीन की एनओसी के लिए लंबित हैं. टेंडर की प्रक्रिया होने के बाद 10 से 12 महीने निर्माण पूरा होने में लगेंगे. लोगों को अब अगले साल भी गर्मी की मार झेलनी होगी.
पांच निर्माणाधीन पावर सबस्टेशन को इस साल के जून तक पूरा करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया था. इनमें दो पावर सब स्टेशन एनएमसीएच और जगनपुरा ही चालू हो सके. तीन का निर्माण चल ही रहा है. उसमें आईटीआई दीघा, मीठापुर कृषि फार्म वन और टू हैं. पीएसएस का निर्माण जीनिया एजेंसी कर रही है. एजेंसी के कार्य की सुस्ती के कारण योजना समय से पूरी नहीं हो पा रही है. दो पीएसएस जो चालू हुए, वह भी समय से छह महीने लेट हैं. बाकी तीन भी विलंब से पूरा होंगे. इसका असर यह हुआ कि योजना के बजट में बढ़ोतरी हो गई. इसके कारण काम और लंबित हो गया. शहर में हर साल बिजली की मांग में बढ़ोतरी हो रही है.
पांच सब स्टेशन फिलहाल टेंडर की प्रक्रिया में
● दीघा आशियाना रोड चंद्र विहार कॉलोनी
● दीघा आशियाना रोड कर्पूरी भवन
● कोथमा खगौल
● विजय नगर रूपसपुर पाटलिपुत्रा
● गोला रोड टी-प्वाइंट
दो को नहीं मिली जमीन की एनओसी
● रानीपुर मौजा पटना सिटी
● नंदलाल छपरा
इन 10 सबस्टेशनों का होना है निर्माण
● विजय नगर रूपसपुर पाटलिपुत्र रेलवे स्टेशन
● दीघा-आशियाना रोड चंद्र विहार कॉलोनी
● दीघा आशियाना रोड कर्पूरी भवन
● गोला रोड टी प्वाइंट
● कोथमा खगौल मुस्तफापुर
● रानीपुर मौजा पटनासिटी
● नंद लाल छपरा
● मीठापुर कृषि फार्म-1
● मीठापुर कृषि फार्म-2
● आईटीआई दीघा