कब से शुरू होगा भाद्रपद मास, जानें पूजा का महत्व और जरूरी नियम

Update: 2023-08-26 14:12 GMT
हिंदू धर्म में हर महीने का अपना विशेष महत्व होता है. फिलहाल सावन का महीना चल रहा है और यह महीना भगवान शिव की उपासना के लिए बेहद शुभ माना जाता है. इस साल अधिकमास के चलते सावन मास दो महीनों का पड़ा जिसमें 8 सोमवार के व्रत रखे गए. ऐसा संयोग 19 साल बाद पड़ा. 28 अगस्त को सावन का आखिरी सोमवार है जिसके बाद 31 तारीख को सावन मास समाप्त हो जाएगा.
सावन के खत्म होने के ठीक बाद भाद्रपद का महीना शुरू हो जाएगा जो सावन की तरह ही बहुत शुभ माना जाता है. ये महीना भगवान श्रीकृष्ण की पूजा के लिए उत्तम माना जाता है क्योंकि इसी माह में श्री कृष्ण का जन्म हुआ था. ऐसे में कृष्ण जन्माष्टमी भी इस महीने में मनाई जाती है.
कब से कब तक भाद्रपद महीना
हिन्दु कैलेंडर के अनुसार भाद्रपद माह को छठा महीना कहा जाता है. यह लगभग सावन के बाद शुरू होता है. इस साल भाद्रपद 1 सितंबर से 29 सितंबर तक चलेगा. भाद्रपद को भादो , भाद्र या भाद्रव के नाम से भी जाना जाता है. धार्मिक दृष्टिकोण से इस महीने को महत्वपूर्ण माना जाता है. अंग्रेजी कैलेंडर के अनुसार भाद्रपद अगस्त और सितंबर के महीने में पड़ता है. भाद्रपद मास पूजा-पाठ और व्रत के लिए खास माना जाता है. धर्म शास्त्रों में कहा गया है कि भाद्रपद के महीने में पवित्र नदियों में स्नान करने, गरीबों को दान करने और व्रत रखने से बहुत लाभ होता है. इस पूरे महीने भगवान श्रीकृष्ण की पूजा करने से व्यक्ति की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं.
भाद्रपद मास में कई बड़े त्योहार
इस महीने को इतना शुभ इसलिए माना जाता है क्योंकि इस महीने श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के साथ राधा जन्मोत्सव, कजरी तीज, श्री गणेश चतुर्थी, अनंत चतुर्दशी, कुश की अमावस्या, विश्वकर्मा पूजा जैसे महत्वपूर्ण त्योहार भी पड़ते हैं. भाद्रपद में घर पर लड्डू गोपाल की स्थापना करने, शंख की स्थापना करने और श्रीमद्भागवत गीता का पाठ करने से धन, यश और वैभव की प्राप्ति होती है. साथ ही भाद्रपद में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर संतान गोपाल मंत्र का जाप करने और हरिवंश पुराण का पाठ करने या सुनने से संतान सुख की प्राप्ति होती है.
भाद्रपद मास से जुड़े जरूरी नियम
भाद्रपद मास में हर रोज सूर्योदय से पहले उठकर सन्ना कर पूजा करनी चाहिए और शाम को भी दिया जरूर जलाना चाहिए.
इस दौरान ना तो किसी के लिए मन में कुछ गलत लाना चाहिए और ना ही अपशब्द या झूठ बोलना चाहिए.ट
भाद्रपद मास में नए घर का निर्माण, गृह प्रवेश और शादी जैसे शुभ कार्य नहीं किए जाते.
माना जाता है कि इस दौरान व्यक्ति को गुड़, दही और इससे बनी चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए.
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