एक्टर दरियाव सिंह मलिक का 82 की उम्र में निधन
फिल्मों में उनके योगदान के लिए दरियाव सिंह को 2006 में तत्कालीन राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम आजाद द्वारा राष्ट्रपति अवार्ड से सम्मानित किया।
हाजिरजवाबी और चुटकुले सुनाने में मशहूर हरियाणवीं फिल्मों के एक्टर दरियाव सिंह मलिक का निधन हो गया है। दिग्गज एक्टर ने बीते गुरूवार 82 की उम्र में इस दुनिया को अलविदा कहा। उनके निधन की खबर के साथ ही फैंस और इंडस्ट्री के लोगों के बीच शोक की लहर दौड़ गई है।
दरियाव सिंह मलिक का अंतिम संस्कार बीते दिन दोपहर एक बजे उग्राखेड़ी श्मशान किया गया। उनके बेटे ने दिवंगत को मुखाग्नि दी।
दरियाव सिंह मलिक ने अपने करियर की शुरुआत आकाशवाणी से की थी। 1969 में उन्हें रेडियो के हो रहे ऑडिशन की जानकारी मिली। वह दिल्ली पहुंच गए और ऑडिशन में सफल हो गए। रात 10 बजे के उन्हें आकाशवाणी रोहतक के लिए कार्यक्रम पेश करने का मौका मिला। उनका यह कार्यक्रम 30 मिनट का होता था। इससे उनकी आवाज घर-घर तक पहुंच गई।
इसके बाद साल 1983 में मलिक को हरियाणवीं फिल्म 'चंद्रावल' में हास्य एक्टर के तौर पर काम करने का मौका मिला। यह फिल्म हरियाणवीं भाषा में बनी प्रदेश की पहली सुपरहिट फिल्म रही, जिसमें उनके काम को खूब पसंद किया गया। उन्होंने कुल 19 हरियाणवीं फिल्मों में अभिनय किया। इसके साथ ही उन्होंने बॉलीवुड में भी कदम रखा और यशराज बैनर के तले बनी फिल्म 'मेरे डैड की मारुति' में उन्होंने बड़े साहब का किरदार निभाया। फिल्मों में उनके योगदान के लिए दरियाव सिंह को 2006 में तत्कालीन राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम आजाद द्वारा राष्ट्रपति अवार्ड से सम्मानित किया।