बच्ची की नीली आंखों पर फिदा थे मां-बाप, जब सामने आई खौफनाक सच्चाई

Update: 2023-09-17 17:54 GMT
जरा हटके: ज्यादातर लोगों की आंखों का रंग काला या फिर गहरा भूरा होता है. ऐसे में अगर किसी की आंखें नीली, हरी या फिर हेज़ल कलर की होती हैं, तो वो बिल्कुल अलग सा दिखता है. ऐसी खूबसूरत और अलग आंखों वालों को रोज़ाना कॉम्प्लीमेंट भी खूब मिलते रहते हैं. एक ऐसी ही नीली आंखों वाली प्यारी सी बच्ची एक कपल के घर में जन्म लिया. माता-पिता अपनी बच्ची की खूबसूरत आंखों पर फिदा थे लेकिन इसके पीछे की सच्चाई से अनजान थे.
डेली स्टार की रिपोर्ट के मुातबिक बच्ची की मां लुइस बाइस ने जब बच्ची को जन्म दिया, तो उसकी खूबसूरत और बड़ी-बड़ी नीली आंखों को देखकर मंत्रमुग्ध हो गईं. चूंकि उनके परिवार में किसी की भी आंखें नीली नहीं थीं, ऐसे में खुद माता-पिता बच्ची की तारीफें करते ही थे, दिन में 7-8 अजनबी लोग भी उसकी आंखों की तारीफ किए बिना नहीं रह पाते थे.
बच्ची की तारीफें और उसे एक्स्ट्रा अटेंशन मिलने का सिलसिला यूं तो 6 महीने तक खूब चला लेकिन फिर सब कुछ बदलने लगा. बच्ची की नीली-नीली आंखें थोड़ी सफेद ही होने लगीं और जैसे ही उसकी आंखों पर रोशनी पड़ती थी और दर्द से चीख पड़ती थी. लुइस और उनके पार्टनर कोनोर बाइस ने जब डॉक्टर को दिखाया, तो पता चला कि बच्ची की आंखों में बायलेटरल कॉन्गेनिटल ग्लुकोमा नाम की बीमारी है. ये एक जेनेटिक प्रॉब्लम है, जिसकी वजह से ऑप्टिक नर्व पर बहुत प्रेशर पड़ता है. अगर तुरंत सर्जरी नहीं हो, तो आंखों की रोशनी भी जा सकती है.
बच्ची के माता-पिता का कहना है कि उन्होंने उसकी सर्जरी भी कराई लेकिन पहली सर्जरी का रिजल्ट सकारात्मक नहीं निकला. अगस्त महीने में बच्ची की दूसरी सर्जरी भी हुई है, जिसका फॉलोअप टेस्ट अभी नहीं हुआ है. बच्ची की दाईं आंख में सिर्फ 5 फीसदी रोशनी बची है. कपल का कहना है कि ये माता-पिता के लिए वॉर्निंग जैसा है. अगर बच्चों की बड़ी आंखों को लेकर ज्यादा कॉम्प्लीमेंट मिले, तो इसका मतलब कुछ गड़बड़ भी हो सकता है जो हमने नहीं सोचा था.
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