Ghaziabad: जाली दस्तावेज तैयार कर प्रोपर्टी डीलर ने 1000 करोड़ की जमीन हड़पी

प्रोपर्टी डीलर गिरफ्तार

Update: 2024-12-13 07:39 GMT

गाजियाबाद: पुलिस ने मेरठ के माधवपुरम निवासी प्रोपर्टी डीलर राजकुमार गर्ग को जाली दस्तावेज तैयार कराकर एक हजार करोड़ की जमीन अपने नाम करने के आरोप में गिरफ्तार किया है। अर्थला में मेट्रो स्टेशन के नजदीक यह 32 एकड़ जमीन साहिबाबाद के जीटी रोड निवासी राजकुमार अग्रवाल की है। साहिबाबाद में प्रोपर्टी डीलिंग करने वाला राजकुमार गर्ग इस जमीन का सौदा कर सात लोगों से 1.5 करोड़ रुपये हड़प चुका है।

उसके खिलाफ एफआईआर राजकुमार अग्रवाल ने दर्ज कराई। पुलिस ने जांच की तो जालसाजी का पूरा खेल सामने आ गया। पता चला कि मूल रूप से मुजफ्फरनगर के अबूपुरा के निवासी राजकुमार गर्ग ने बड़ी चालाकी से दस्तावेज में खुद को राजकुमार गर्ग से राजकुमार अग्रवाल बना लिया। इसके लिए उसने अपने आधार कार्ड, पैन कार्ड, बैंक खाते, पासपोर्ट और अन्य दस्तावेज में अपना नाम में संशोधन कराया। इतना ही नहीं। उसने सभी दस्तावेज में अपने पिता का नाम भी बदलवा दिया।

डीसीपी ट्रांस हिंडन निमिष पाटील ने बताया कि राजकुमार गर्ग के पिता का नाम सूरजमल गर्ग है। उनका निधन हो चुका है। राजकुमार गर्ग के मूल दस्तावेज में उनका नाम स्वर्गीय सूरजमल गर्ग दर्ज था। राजकुमार अग्रवाल के पिता का नाम गोपालदास अग्रवाल है। राजकुमार गर्ग ने दस्तावेज में अपने पिता का नाम गोपालदास अग्रवाल दर्ज करा लिया। इसके बाद उसने जमीन के फर्जी दस्तावेज तैयार कर लिए।

जालसाजी में शामिल रहे पांच लोग : डीसीपी ने बताया कि राजकुमार गर्ग ने यह जालसाजी अकेले नहीं की। उसके साथ चार और लोग शामिल रहे। सभी के बारे में जानकारी मिल गई है। पुलिस की टीमें दबिश दे रही हैं। जल्द ही चारों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा। इन लोगों ने रविंद्र सिंह निवासी मंडोली दिल्ली और दिलीप सिंह निवासी शाहदरा सहित सात लोगों से जमीन का सौदा किया। सभी से टोकन मनी के नाम पर रकम ली गई। राजकुमार गर्ग और उसके साथी कई और लोगों के संपर्क में थे। सभी से जमीन बेचने की बात कर रहे थे। राजकुमार गर्ग ने दस्तावेज में नाम इसलिए बदला ताकि कोई तहसील में जाकर जानकारी करे तो उसे यही पता चले कि जमीन उसके नाम पर ही है।

असली मालिक के पास पहुंचा ग्राहक... खुल गया राज

राजकुमार अग्रवाल को इस जालसाजी का पता तब चला जब पिछले दिनों एक व्यक्ति ने उन्हें कॉल की। उसने पूछा कि वह जमीन का बैनामा कब करेंगे। राजकुमार अग्रवाल को शक हुआ तो उन्होंने उसने अपने पास बुला लिया। ग्राहक ने उनसे पूछा कि राजकुमार अग्रवाल कहां हैं, उनसे मिलना है। इस पर राजकुमार अग्रवाल को शक हुआ। उन्होंने उससे पूरी बात पूछी। तब पता चला कि कोई खुद को राजकुमार अग्रवाल बताकर उनकी जमीन का सौदा कर रहा है। उन्होंने इसकी पड़ताल की तो राजकुमार गर्ग और उसकी जालसाजी के बारे में जानकारी मिली। इसके बाद वह पुलिस के पास गए। उन्होंने बताया कि यह जमीन उन्होंने 1960 में खरीदी थी। वर्तमान में जमीन का रेट लगभग 85 हजार रुपये गज है।

10 करोड़ में कर दिया था सेना की जमीन का बैनामा

जालसाजी से जमीन का सौदा करने के और भी मामले सामने आ चुके हैं। सवा दो साल पहले 17 अगस्त 2022 को विजयनगर में सेना की 23 करोड़ कीमत की 18,710 वर्ग जमीन का बैनामा कर दिया गया था। इसके लिए फर्जी दस्तावेज तैयार कराए गए। इसके बाद जमीन का सौदा बिल्डरों से कर दिया गया। बिल्डरों ने जमीन पर कब्जा लेने की कानूनी कार्रवाई भी शुरू कर दी थी। यह जालसाजी फर्जी पॉवर आफ अटार्नी तैयार करके की जा रही थी। इसका पता चलने पर पुलिस ने केस दर्ज आरोपियों को गिरफ्तार किया था। बाद में तहसील ने बैनामा निरस्त करने की कार्रवाई की थी।

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