सारंगढ़ बिलाईगढ़: राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी ‘‘नरवा गरवा घुरूवा बारी कार्यक्रम’’ अंतर्गत संचालित गौठानों में कई समूह अपने स्तर पर उत्पादन कार्य कर रही हैं। जिले के सारंगढ़ विकासखंड अंतर्गत ग्राम पंचायत रेड़ा के गौठान में जयश्री गणेश स्वसहायता समूह, बृंदा स्वसहायता समूह और रत्ना स्वसहायता समूह कार्य कर रही हैं। रेड़ा गौठान में वर्मी कम्पोस्ट का भंडारण केन्द्र भवन, वर्मी कम्पोस्ट शेड, सौर ऊर्जा से संचालित नलकूप और स्वच्छ भारत अंतर्गत शौचालय है।
जयश्री गणेश स्वसहायता समूह ने बाड़ी विकास कार्यक्रम अंतर्गत इस वर्ष गौठान में प्याज और आलू की खेती की थी। आलू-प्याज का उत्पादन अच्छा हुआ है, जिसका खुदरा विक्रय किया जा रहा है। जय श्री गणेश स्वसहायता समूह की अध्यक्ष गणेश बाई पंकज ने बताया कि उनके समूह ने 3 लाख का ऋण लिया था। समूह ने अपने आमदनी से 2 लाख रूपए का भुगतान किया है और एक लाख का भुगतान शेष है।
बृंदा स्वसहायता समूह की अध्यक्ष कलावती खुंटे ने बताया कि उनके समूह ने वर्मी कम्पोस्ट का 177 बोरी वर्मी कम्पोस्ट खाद का उत्पादन किया है, जिसे सहकारी समिति कोतरी में बेचा है। रत्ना स्वसहायता समूह की सचिव रत्ना सारथी ने बताया कि उनके समूह द्वारा 40 क्विंटल 40 किलो वर्मी कम्पोस्ट खाद को सहकारी समिति कोतरी में बेचा जा चुका हैै और वर्तमान में भी समूह द्वारा वर्मी कम्पोस्ट के लगभग 165 बोरी का बिक्री किया जाना है। गोठान से सभी स्वसहायता समूह की महिलाओं और सदस्यों को अपने घर के कार्यों के साथ-साथ रोजगार उपलब्ध हुआ है। गर्मी के दिनों में तालाब सूख गए हैं इसलिए नहाने के लिए भी बड़ी संख्या में ग्रामीण गौठान के नलकूप में आते हैं।