पाकिस्तान का सहारा बने ‘हथियार’, बेलआउट पैकेज के लिए IMF के साथ साझेदारी
,नकदी संकट से जूझ रहे पाकिस्तान की गरीबी को शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता. राशन से लेकर आम जरूरी चीजों तक की कीमतें आसमान छू रही हैं. इसके बावजूद पाकिस्तान द्वारा अमेरिका के साथ हथियारों की डील करने की खबरें आ रही हैं. इसी हथियार उद्योग के नाम पर पाकिस्तान आईएमएफ की आंखों में धूल झोंक रहा है और बेल आउट पैकेज हासिल कर रहा है.अमेरिका की एक गैर-लाभकारी डिजिटल समाचार संस्था इंटरसेप्ट ने रिपोर्ट प्रकाशित की है कि पाकिस्तान पर्दे के पीछे अमेरिका के साथ हथियारों का सौदा कर रहा है। इन हथियारों को रूस-यूक्रेन युद्ध में यूक्रेनी सेना को आपूर्ति की जा रही है, ताकि वह रूस के खिलाफ अपनी लड़ाई को और मजबूत कर सके।
पाकिस्तानी सेना के रिकॉर्ड से सामने आई जानकारी
इंटरसेप्ट ने पाकिस्तानी सेना से जुड़े सूत्रों के हवाले से खबर दी है कि पाकिस्तान और अमेरिका के बीच एक गुप्त हथियार समझौते पर हस्ताक्षर हुए हैं. इससे जुड़ी एक रिपोर्ट में उन हथियारों का विवरण है, जिन्हें पाकिस्तान और अमेरिका ने 2022 के गर्मियों के मौसम और 2023 के वसंत के मौसम में बिक्री के लिए अनुबंधित किया है।रिपोर्ट में एक सूत्र के हवाले से कहा गया है कि इससे जुड़े दस्तावेजों में पाकिस्तानी ठेकेदारों और अमेरिकी अधिकारियों के बीच बातचीत और वित्तीय लेनदेन के सबूत हैं। इसमें यूक्रेन के लिए पाकिस्तानी सेना के हथियार खरीदने से संबंधित लाइसेंसिंग और अनुरोध दस्तावेजों का निशान दिखाई दे रहा है।
आईएमएफ को विश्वास में लेने की बात
इंटरसेप्ट रिपोर्ट में कहा गया है कि अमेरिकी विदेश विभाग इस हथियार सौदे के लिए आईएमएफ को विश्वास में लेने पर सहमत हो गया है। ये खबर चौंकाने वाली है क्योंकि पाकिस्तान में गरीबी के कारण खाने-पीने के लिए भी पैसे नहीं हैं. साथ ही वह आईएमएफ से मिले पैकेज को ऐसे हथियार सौदों पर खर्च कर रहा है.इसी साल जुलाई में आईएमएफ ने पाकिस्तान को 1.2 अरब डॉलर की रकम ट्रांसफर की थी. यह उसे मिले 3 अरब डॉलर के बेलआउट पैकेज की एक किस्त के रूप में मिला था।