टेस्ला ने भारत सरकार के कार्यालय से इलेक्ट्रिक वाहनों पर आयात करों को कम करने का किया आग्रह

अमेरिका की वाहन निर्माता कंपनी टेस्ला भारत में लगातार अपनी एंट्री को लेकर सरकार से बात कर रही है।

Update: 2021-10-21 06:02 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क  |   अमेरिका की वाहन निर्माता कंपनी टेस्ला भारत में लगातार अपनी एंट्री को लेकर सरकार से बात कर रही है। रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक कंपनी ने भारतीय प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यालय से इलेक्ट्रिक वाहनों पर आयात करों को कम करने का आग्रह किया है। बता दें, टेस्ला इस साल भारत में आयातित कारों की बिक्री शुरू करना चाहती है, लेकिन उनका कहना है कि भारत में ईवी के आयात पर लगने वाला कर अन्य देशो से ज्यादा हैं।

कितना लगता है आयात किए गए ईवी पर कर
भारत 40,000 डॉलर या उससे कम लागत वाले इलेक्ट्रिक वाहनों पर 60% का आयात शुल्क और 40,000 डॉलर से अधिक कीमत वाले वाहनों पर 100% शुल्क लगाता है। हालांकि कुछ जानकारों का मानना है, कि इन दरों पर टेस्ला कारें खरीदारों के लिए बहुत महंगी हो जाएंगी और यह कर भारत में Tesla के वाहनें की बिक्री को सीमित कर सकता हैं। सूत्रों ने कहा कि टेस्ला ने अलग से अपने मुख्य कार्यकारी एलन मस्क और मोदी के बीच बैठक का अनुरोध भी किया है।
घरेलू वाहन निर्माता कंपनियां कर में मांग को लेकर खिलाफ
यह स्पष्ट नहीं है कि मोदी के कार्यालय की तरफ से टेस्ला को जवाब में क्या बताया गया है, सूत्रों ने कहा कि कर में कटौती के चलते स्थानीय ऑटो उद्योग पर असर पड़ेगा जिसके चलते सरकार इस पर भी विचार कर रही है। आपको याद होगा कि टाटा मोटर्स जैसी भारतीय कंपनियां, (जिन्होंने हाल ही में स्थानीय स्तर पर ईवी उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए टीपीजी सहित निवेशकों से 1 बिलियन डॉलर जुटाए हैं,) ने कहा है कि टेस्ला को रियायतें देना घरेलू ईवी विनिर्माण को बढ़ावा देने की भारत की योजनाओं के विपरीत होगा।
चीन में बनी कार ना हो भारत में आयात
परिवहन मंत्री ने इस महीने एक बयान में कहा था, कि टेस्ला को भारत में चीन में बनी कारों की बिक्री नहीं करनी चाहिए और इसके बजाय स्थानीय रूप से निर्माण करना चाहिए, लेकिन टेस्ला ने संकेत दिया है कि वह पहले आयात के साथ भारतीय बाजार को परखेगी।


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