जानिए क्या आपको खरीदनी चाहिए? इन कारों से भी ज्यादा महंगी होगी भारत में Tesla की इलेक्ट्रिक कार
अमेरिका की दिग्गज इलेक्ट्रिक वाहन निर्माता कंपनी Tesla के भारत में आने का लोग बेसब्री से इंतज़ार कर रहे हैं।
जनता से रिश्ता वेबडेस्क| अमेरिका की दिग्गज इलेक्ट्रिक वाहन निर्माता कंपनी Tesla के भारत में आने का लोग बेसब्री से इंतज़ार कर रहे हैं। हालांकि भारत में इसे 4 साल पहले ही आना था। लेकिन कुछ कारणों की वजह से ऐसा नहीं हो पाया। लेकिन अब लगता है इसके भारत में ऑफिशियल एंट्री की सारी तैयारियां हो चुकी हैं और इस साल यानि 2021 में टेस्ला भारत में प्रवेश करने जा रही है। इस बात पर खुद परिवहन मंत्री नितिन गडकरी और टेस्ला के फाउंडर एलन मस्क (Elon Musk) अपनी मोहर लगा चुके हैं।
इन सबके बीच एक सवाल जो खासतौर पर हम भारतीयों के लिए बहुत अहमियत रखता है, वो ये है कि क्या आप तकरीबन 70 लाख रुपये खर्च करके एक कॉम्पैक्ट इलैक्ट्रिक सेडान कार खरीदना चाहेंगे। जी, हां माना जा रहा है कि टेस्ला भारत में सबसे पहले अपनी कॉम्पैक्ट सेडान मॉडल 3 लेकर आएगा। जोकि इससे पहले भी भारत में टेस्ट की जा चुकी है। रिपोर्ट्स के अनुसार टेस्ला की पॉपुलर, सेडान मॉडल 3 की भारत में कीमत 70 लाख से लेकर 90 लाख रुपये के बीच में होने की संभावना है।
यह कार लग्जरी सेग्मेंट में आने वाली Mercedes-Benz C-Class,के अलावा Audi A4 और BMW 3 Series से भी महंगी होगी। हालांकि दुनिया के सबसे अमीर आदमी बने एलन मस्क की कंपनी टेस्ला की कारें फ्यूचरिस्टिक अप्रोच को शो करती हैं। लेकिन इन सबके बीच एक बड़ा सवाल ये उठता है कि है भारत जैसे देश में, जहां अन्य कंपनियां बजट सेग्मेंट में इलेक्ट्रिक कारें पेश कर रही हैं, जैसे टाटा नेक्सन और ह्यंदै कोना और इसके अलावा टाटा अपनी अल्ट्रोज और महिंद्रा अपनी केयूवी 100 के इलेक्ट्रिक वर्जन को महज़ 10 से 15 लाख की कीमत पर पेश करने वाला है, वहां टेस्ला की महंगी- महंगी कारें मार्केट में अपनी जगह कैसे बना पाएंगी।
वहीं इसके अलावा एक सच ये भी है कि फिलहाल भारत में इलेक्ट्रिक व्हीकल्स का क्रेज़ भी ज्यादा नहीं है। हालांकि इनकी बिक्री में तेजी से इजाफा हो रहा है और अब कई कंपनियां इसी बात को मद्देनज़र रखते हुए EVs पर ध्यान दे रहे हैं। वहीं सरकार ने भी बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए पूरे देश के वाहनों को 2030 तक इलेक्ट्रिक व्हीकल्स में तब्दील करने का फैसला किया है। हालांकि ये देखना दिलचस्प होगा कि कम चार्जिंग पॉइंट्स, महंगे दाम और कम सर्विस सेंटर के बावजूद टेस्ला की मॉडल 3, मर्सिडीज़ बेन्ज सी-क्लास ऑडी ए4 और बीएमडब्ल्यू सीरीज़ 3 जैसी कारों पर कैसे भारी पड़ती है।