क्रिप्टोकरेंसी पर पूरा बैन नहीं लगाएंगी सरकार, जानिए पूरा मामला

इस बिल से क्रिप्टोकरेंसी पर कोई बैन नहीं लगेगा. सरकार क्रिप्टोकरेंसी को हवाला, टेरर फंडिंग में उसकी भूमिका पर नजर रखने के लिए रेगुलेट कर रही है.

Update: 2021-11-24 07:18 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। सरकार संसद के आने वाले शीतकालीन सत्र में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर एक बिल पेश करने जा रही है. यह बिल प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी को भारत में बैन भी करेगा. ऐसे में इसे लेकर अनुमान लगाए जा रहे हैं कि क्या इसके बाद देश में क्रिप्टोकरेंसी पर बैन लग जाएगा और लोग इसमें निवेश नहीं कर सकते हैं. लेकिन CNN न्यूज 18 के मुताबिक, इस बिल से क्रिप्टोकरेंसी पर कोई बैन नहीं लगेगा. उसके मुताबिक, सरकार क्रिप्टोकरेंसी को हवाला, टेरर फंडिंग में उसकी भूमिका पर नजर रखने के लिए रेगुलेट कर रही है.

सरकारी सूत्रों ने उसे बताया कि भारत में binance ऐप के जरिए ट्रेड होने वाले डॉलर बेस्क क्रिप्टो को रेगुलेट किया जाएगा, जिससे हवाला ट्रांजैक्शन्स को रोका जा सके. उसके मुताबिक, भारतीय रुपये और शेयर बाजार पर ट्रेड होने वाले सभी क्रिप्टो ट्रेड करते रहेंगे. ग्लोबल एक्सचेंज पर binance या भारत के बाहर किसी दूसरे प्लेटफॉर्म के जरिए ट्रेडिंग को बैन किया जाएगा.
सरकार इस टेक्नोलॉजी के खिलाफ नहीं: एक्सपर्ट्स
जानकारों के मुताबिक, यह समझना होगा कि सरकार इस टेक्नोलॉजी के खिलाफ नहीं है. आरबीआई अपनी खुद की डिजिटल करेंसी लाने की तैयारी कर रही है. सरकार का मानना है कि इसमें बहुत फ्रॉड हो गया है. इस करेंसी का इस्तेमाल बहुत गैर-आधिकारिक ट्रांजैक्शन के लिए हो रहा है. पूरी तरह बैन नहीं होगा. एक्सपर्ट्स ने कहा कि इस साल फरवरी के बजट सेशन के बुलेटिन में समान चीजें हैं. इस बीच काफी चीजें हुई हैं. इस बीच सरकार से जुड़े लोगों और वित्त मंत्री सीतारमण ने कहा कि वे कोई बीच का रास्ता अपनाएंगे.
प्रधानमंत्री मोदी ने कैबिनेट के साथ क्रिप्टोकरेंसी रेगुलेशन को लेकर चर्चा की है. इसके अलावा स्टैंडिंग कमेटी ने भी इंडस्ट्री के लोगों से बात की है. इन सभी बातों को देखते हुए ऐसा नहीं लगता कि पूरी तरह बैन हो जाएगा. कुछ रेगुलेशन, टैक्स होंगे. एक्सचेंज और कंप्लायंट बनेंगे. हमें बिल के कंटेंट को देखने का इंतजार करना चाहिए.
इंडस्ट्री ने भी दिया था सरकार को प्रस्ताव
इंडस्ट्री ने जनवरी 2021 को सरकार को एक रेगुलेटरी प्रपोस्ड फ्रेमवर्क सब्मिट किया था. इसमें उन्होंने प्रस्ताव किया था कि सेबी को एक्सचेंजेज को रेगुलेट करना चाहिए. इसके साथ आरबीआई को देश के अंदर और बाहर जा रहे ट्रांजैक्शन्स की निगरानी करनी चाहिए. प्रस्ताव के मुताबिक, एक नई इडीविजुअल बॉडी बनाई जा सकती है, जिसमें क्रिप्टो को समझने वाले लोग हों, जो यह काम करें. जानकारों के मुताबिक, सबसे आदर्श फ्रेमवर्क यही होगा.


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