शेयर की कीमतों में हेराफेरी का मामला, सेबी ने 85 कंपनियों को कैपिटल मार्केट में ट्रेडिंग पर लगाई रोक

नियामक ने अपने आदेश में सनराइज एशियन और उसके तत्कालीन पांच निदेशकों को पूंजी बाजार से एक साल के लिए और 79 संबंधित इकाइयों को छह महीने के लिए प्रतिबंधित कर दिया.

Update: 2021-09-07 01:26 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। मार्केट रेग्युलेटर सेबी ने सनराइज एशियन लिमिटेड (Sunrise Asian Ltd) समेत कुल 85 व्यक्तियों और संस्थाओं को कंपनी के शेयर मूल्य में हेराफेरी करने के चलते पूंजी बाजार (capital markets) में कारोबार करने पर एक साल तक के लिए रोक लगा दी. नियामक ने अपने आदेश में सनराइज एशियन और उसके तत्कालीन पांच निदेशकों को पूंजी बाजार से एक साल के लिए और 79 संबंधित इकाइयों को छह महीने के लिए प्रतिबंधित कर दिया.

भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) ने प्रधान आयकर निदेशक (जांच), कोलकाता से मिले एक संदर्भ के आधार पर 16 अक्टूबर 2012 से 30 सितंबर 2015 की अवधि के दौरान सनराइज एशियन के शेयरों की जांच की थी.
शेयर की कीमतों में हेराफेरी का आरोप
सेबी ने अपनी जांच में पाया कि विलय योजना के तहत शेयरों के आवंटन के अनुसार सनराइज एशियन और उसके तत्कालीन निदेशकों ने एक व्यवस्था तैयार की थी, जिसके तहत 83 संबंधित इकाइयों ने जांच अवधि के दौरान शेयरों की कीमत में हेराफेरी की थी, जिससे धोखाधड़ीपूर्ण और अनुचित व्यापार व्यवहार (PFUTP) मानदंडों का उल्लंघन हुआ.
इस कंपनी को 3 साल के लिए किया बैन
नियामक ने शुक्रवार को एक अलग आदेश में कोरल हब लिमिटेड (Coral Hub Ltd) को पूंजी बाजार से तीन साल के लिए और छह व्यक्तियों को 2-3 साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया. ये लोग नियामकीय नियमों का उल्लंघन होने के समय या तो कंपनी के निदेशक हैं अथवा कोरल हब लिमिटेड की लेखा परीक्षा समिति का हिस्सा रहे हैं.
सेबी ने जांच में इस पर गौर किया कि कंपनी ने 2008- 09 और 2009- 10 के दौरान झूठे, बढ़ा चढ़ाकर और भ्रामक वित्तीय परिणाम प्रकाशित किये. सेबी को इस संबंध में शिकायत मिली थी.
इस म्यूचुअल फंड कंपनी पर SEBI ने लगाया बैन
SEBI ने कोटक महिंद्रा असेट मैनेजमेंट कंपनी (Kotak Mahindra Asset Management Company) पर अगले छह महीने के लिए बैन का आदेश जारी किया है. सेबी ने कोटक महिंद्रा म्यूचुअल फंड कंपनी से कहा कि वह अगले छह महीने तक फिक्स्ड मैच्योरिटी प्लान यानी FMP Scheme को लॉन्च नहीं करेगी.
दरअसल कंपनी ने निवेशकों का पैसा पूरी तरह रिफंड नहीं किया है. कंपनी ने 6 FMP निवेशकों का पैसा नहीं लौटाया है जिसके कारण यह फैसला लिया गया है. कोटक महिंद्रा एएमसी पर 50 लाख का जुर्माना भी लगाया गया है. जुर्माने का भुगतान अगले 45 दिनों में करना होगा. सेबी ने Kotak Mahindra AMC से कहा कि वह उन छह एफएमपी को लेकर एडवाइजरी फीस के रूप में जो चार्ज वसूला है, उसे 15 फीसदी की दर से इंट्रेस्ट समेत वापस करे. इंट्रेस्ट का कैलकुलेशन मैच्योरिटी डेट से होगा और यह सालाना इंट्रेस्ट रेट है.


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