अनिल अंबानी के लिए आई खुशखबरी, 4600 करोड़ Delhi Metro से सूद समेत मिलेंगे, जानिए पूरा मामला

अनिल अंबानी की कंपनी रिलायंस इन्फ्रा को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है. दिल्ली मेट्रो के साथ विवाद को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने DMRC से कहा कि वह कंपनी को 2782 करोड़ का भुगतान इंट्रेस्ट समेत करे.

Update: 2021-09-10 06:38 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। कर्ज के बोझ के नीचे दबे अनिल अंबानी के लिए सुप्रीम कोर्ट से खुशखबरी आई है. उच्चतम न्यायालय ने 9 सितंबर को दिल्ली मेट्रो रेलवे कॉर्पोरेशन (DMRC) से कहा कि वह अनिल अंबानी की कंपनी रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर ( Reliance Infrastructure) को 2782 करोड़ का भुगतान करे. इसके अलावा इंट्रेस्ट का भी भुगतान करना है.

सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में अनिल अंबानी ग्रुप की कंपनी दिल्ली एयरपोर्ट मेट्रो एक्सप्रेस प्राइवेट लिमिटेड (DAMEPL के पक्ष में 2017 में आए मध्यस्थता अदालत के फैसले को बरकरार रखा है. इस फैसले का प्रवर्तन दिल्ली मेट्रो रेल निगम (DMRC) के खिलाफ किया जाना है. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि आर्बिट्रेशन के फैसलों को खारिज करने की न्यायालय की धारणा परेशान करने वाली है. उच्चतम न्यायालय ने दिल्ली हाईकोर्ट के उस फैसले को खारिज कर दिया है, जिसमें उसने आर्बिट्रेशन के फैसले को रद्द करने का आदेश दिया था. बता दें कि DMRC में दिल्ली सरकार की हिस्सेदारी 50 फीसदी है और केंद्र के पास 50 फीसदी हिस्सेदारी है.
2008 में दिल्ली मेट्रो और अनिल अंबानी की कंपनी के बीच करार
2008 में DMRC ने दिल्ली एयरपोर्ट मेट्रो एक्सप्रेस प्राइवेट लिमिटेड (DAMEPL) के साथ करार किया था. इस कंपनी को अनिल अंबानी की रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर प्रमोट करती है. DAMEPL को दिल्ली मेट्रो रेल निगम से डिजाइन, इंस्टॉलेशन, कमिशनिंग, ऑपरेशन और लाइन मेंटिनेंस का काम मिला था. दिल्ली मेट्रो की तरफ से यह पहला PPP (पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप) कॉन्ट्रैक्ट था. डीएएमईपीएल सुरक्षा मुद्दों की वजह से एयरपोर्ट एक्सप्रेस मेट्रो लाइन के परिचालन से बाहर निकल गई थी.
एयरपोर्ट एक्सप्रेस मेट्रो लाइन का इतिहास
दिल्ली मेट्रो की एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन 22.7 किलोमीटर लंबी है. इसी रूट को ऑरेंज लाइन के नाम से भी जाना जाता है. यह नई दिल्ली रेलवे स्टेशन से द्वारका सेक्टर-21 के बीच है. इसकी रूट इंदिरा गांधी एयरपोर्ट (IGI Airport's Terminal 3) होकर जाती है. इस रूट के निर्माण की लागत करीब 5800 करोड़ रुपए है. आम जनता के लिए इसे फरवरी 2011 में खोला गया. वैसे इस रूट को 2010 के कॉमनवेल्थ गेम्स से पहले शुरू हो जाना चाहिए था. ऑरेंज लाइन पर मेट्रो तीन स्टेशन- शिवाजी स्टेडियम, धौलाकुंआ और एयरोसिटी पर रुकती है.
इंट्रेस्ट के साथ 4600 करोड़ का दावा
रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर की ताजा वार्षिक रिपोर्ट के अनुसार डीएएमईपीएल के पक्ष में यह फैसला ब्याज सहित 63.2 करोड़ डॉलर या 4,600 करोड़ रुपए से अधिक का है. मध्यस्थता न्यायाधिकरण ने मई, 2017 में अपने फैसले में एयरपोर्ट मेट्रो की परिचालक के इस दावे को स्वीकार कर लिया था कि संरचनात्मक खामियों की वजह से इस लाइन पर परिचालन व्यावहारिक नहीं है.
DAMEPL अपने लेंडर्स का करेगी भुगतान
कंपनी के अधिवक्ता ने मामले की सुनवाई के दौरान कहा कि डीएएमईपीएल इस राशि का इस्तेमाल अपने लेंडर्स को बकाया के भुगतान के लिए करेगी. डीएएमईपीएल ने 2008 में एयरपोर्ट मेट्रो लाइन का परिचालन 2038 तक करने के लिए डीएमआरसी से करार किया था. दोनों पक्षों के बीच विवाद के बाद डीएएमईपीएल ने एयरपोर्ट मेट्रो लाइन का परिचालन रोक दिया था. एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन को 23 फरवरी, 2011 को 2,885 करोड़ रुपए के निवेश के बाद चालू किया गया था. इस निवेश का वित्तपोषण डीएएमईपीएल के प्रवर्तक कोष, बैंकों और वित्तीय संस्थानों के जरिए किया गयाा था.


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