लोकसभा में आज फाइनेंस बिल 2021 पास हो गया. इस बिल के पास हो जाने के बाद वित्त वर्ष 2021-22 के लिए बजट में जो वित्तीय सुझाव और प्रस्ताव रखे गए थे, उसे मंजूरी मिल गई.
लोकसभा में पास होने के बाद अब बजट 2021 घोषणा पर मुहर लग गया साथ ही बजट की पूरी प्रक्रिया समाप्त हो गई. वित्त मंत्री ने कहा कि हमारा फोकस ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को सपोर्ट करने पर था.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सदन में कहा कि इनकम टैक्स रेट में किसी तरह का बदलाव नहीं किया गया है. उन्होंने कहा कि यह बजट का थीम भी था. खुद पीएम मोदी चाहते थे कि सरकार रिसोर्स बढ़ाने के लिए टैक्स के रास्ते पर आगे नहीं बढ़ेगी. फाइनेंस बिल पेश करने के दौरान विपक्षी नेताओं ने पेट्रोल और डीजल के आसमानी रेट का मुद्दा उठाया और इसे जीएसटी के दायरे में लाने की बात कही. इस पर वित्त मंत्री ने कहा कि वह पेट्रोल-डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने को लेकर चर्चा के लिए तैयार हैं.
जीएसटी काउंसिल की बैठक में एजेंडा में शामिल हो यह मुद्दा
सीतारमण ने कहा कि पेट्रोल और डीजल पर केंद्र और राज्य सरकार, दोनों टैक्स लगाती है. अगर पेट्रोल-डीजल पर लगने वाले टैक्स को लेकर चिंता है तो मैं यह कहना चाहूंगी कि सभी राज्य इस चर्चा को देख रहे होंगे. ऐसे में जीएसटी काउंसिल की जब अगली बैठक होगी तो मुझे इस बात की खुशी होगी की राज्यों की मदद से इस मुद्दे को एजेंडा में शामिल किया जाए और फिर इस पर गंभीर चर्चा हो.
केंद्र और राज्य दोनों टैक्स वसूलते हैं
सीतारमण ने कहा कि महाराष्ट्र में पेट्रोल-डीजल पर सबसे ज्यादा टैक्स लगता है. ऐसे में इस बात को याद रखने की जरूरत है कि टैक्स केंद्र के साथ-साथ राज्य भी वसूलते हैं. बता दें कि अपने देश में पेट्रोल की कीमत में 60 फीसदी और डीजल की कीमत में 55 फीसदी हिस्सा टैक्स का होता है.