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सीरिया | रूस के खिलाफ विद्रोह करने वाले येवगेनी प्रिगोजिन का खेल खत्म हो गया है। हालांकि, प्रिगोजिन मारे जा चुके हैं या फिर जिंदा है, फिलहाल इसको लेकर कई आशंकाए हैं, लेकिन सीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक, अब उनका वैगनर चीफ रहना संभव नहीं है और व्लादिमीर पुतिन ने एक नये कमांडर का नाम वैगनर चीफ बनाने के लिए प्रस्ताव रखा है। रूसी नेता व्लादिमीर पुतिन ने वैगनर समूह के लड़ाकों को प्रस्ताव दिया है, कि आंद्रे ट्रोशेव नाम का एक वरिष्ठ 'भाड़े का सैनिक' अब निजी सैन्य समूह वैगनर ग्रुप की कमान संभाले। व्लादिमीर पुतिन के इस आदेश को लेकर रूसी अखबार कोमर्सेंट ने ये जानकारी दी है।
माना जा रहा है, कि पुतिन के खिलाफ विद्रोह करने के बाद से येवगेनी प्रिगोजिन को लेकर वैगनर ग्रुप के अंदर भी दरारें पड़ गईं थीं और पुतिन ने जिस वरिष्ठ जनरल आंद्रे ट्रोशेव का नाम नये वैगनर चीफ के तौर पर प्रस्तावित किया है, उनका अब नया वैगनर चीफ बनना तय है। रूसी अखबार ने जून के महीने में वैगनर ग्रुप का विद्रोह होने के 5 दिनों के बाद रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने एक बैठक का आयोजन किया था, जिसमें प्रिगोजिन के साथ साथ दर्जनों वैगनर के वरिष्ठ कमांडरों ने भाग लिया था।
कोमर्सेंट अखबार के मुताबिक, पुतिन ने बैठक में दर्जनों वैगनर सैनिकों से कहा, कि उन्होंने उन्हें रोजगार के जो कई विकल्प पेश किए, उनमें से एक में उन्हें अपने प्रत्यक्ष कमांडर के अधीन लड़ना जारी रखना भी शामिल है। और एक आदमी, जिसका कॉल साइन नाम 'सेडॉय' है, अब उसके अधीन आप लड़ना जारी रखिए। आपको बता दें, कि 'सेडॉय' का मतलब सफेद बाल होता है।पुतिन ने बैठक में कहा, कि "वो हर जगह पहुंच सकते हैं, सबकी सेवा करना जारी रख सकते हैं और उनके लिए कुछ नहीं बदलता है। उनका (वैगनर ग्रुप) नेतृत्व वही व्यक्ति करेगा, जो हमेशा से उनका वास्तविक कमांडर रहा है।" 'और फिर उसके बाद क्या हुआ…' रूसी अखबार कोमर्सेंट के रिपोर्टर से रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने कहा, कि "जब मैंने ऐसा कहा तो कई लोगों ने (हां में) सिर हिलाया।"
यूरोपीय संघ और फ्रांस द्वारा प्रकाशित प्रतिबंध दस्तावेजों के अनुसार, एंड्री ट्रोशेव का कॉल नेम सेडॉय रहा है और वो एक रिटायर्ड रूसी कर्नल हैं, जो वैगनर ग्रुप के संस्थापक सदस्य और कार्यकारी निदेशक रहे हैं।एंड्री ट्रोशेव ने ही वैगनर ग्रुप की तरफ से सीरिया में काम संभाला था और चीफ ऑफ स्टाफ बनकर काम किया था, जिसके बाद यूरोपीय संघ ने उनपर प्रतिबंध लगा दिया। उन्होंने सीरियाई शासन का समर्थन किया था। आपको बता दें, कि सीरिया में रूस समर्थित सरकार है और राष्ट्रपति बशर अल असद, पुतिन के आदमी हैं।
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Harrison
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