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दो ईसाई नर्सों के खिलाफ ईशनिंदा का आरोप, दीवार से Sticker हटाना पड़ा भारी

Neha Dani
11 April 2021 6:01 AM GMT
दो ईसाई नर्सों के खिलाफ ईशनिंदा का आरोप, दीवार से Sticker हटाना पड़ा भारी
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हालांकि हमले में वह बच गईं लेकिन उनके हाथ में गंभीर चोट आई है।

पाकिस्तान में एक बार फिर ईशनिंदा कानून के नाम पर दो ईसाई नर्सों को निशाना बनाया गया है। यहां पंजाब प्रांत के फैसलाबाद में दो ईसाई नर्सों मरियम लाल और नविश अरूज के खिलाफ ईशनिंदा के आरोपों के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। दोनों के खिलाफ अस्पताल के उप चिकित्सा अद्यीक्षक डॉ. मोहम्मद अली ने शिकायत दर्ज कराई है।

पुलिस ने बताया कि फैसलाबाद के जिला मुख्यालय अस्पताल में कार्यरत नर्स मरियम लाल और नविश अरूज के खिलाफ अस्पताल प्रशासन ने ईशनिंदा के आरोप लगाए हैं। दोनों पर आरोप है कि उन्होंने अस्पताल के मनोरोगी वार्ड में दीवारों पर लगे इस्लामिक आयतों के स्टिकर हटाए।
अस्पताल के उप चिकित्सा अद्यीक्षक डॉ. अली के अनुसार मामले की जांच कर रही अस्पताल की कमेटी ने दोनों के ऊपर लगे ईशनिंदा के आरोप सही पाए हैं। हटाए गए स्टिकर अस्पताल की मुख्य नर्स के कब्जे में हैं।
पुलिस ने बताया कि दोनों नर्सों के खिलाफ अस्पताल के कर्मचारियों ने प्रदर्शन किया। मुस्लिम धर्मगुरु भी प्रदर्शन में शामिल हो गए। आरोपी नर्सों में से एक को जब पुलिस ने हिरासत में लिया तो प्रदर्शन कर रही भीड़ ने उस पर हमले की कोशिश की। पुलिस ने अस्पताल में खड़ी पुलिस वैन के अंदर उसे बंद करके किसी तरह बचाया।
प्रदर्शनकारी उसे खुद को सौंपे जाने की मांग कर रहे थे। स्थिति को संभालने के लिए भारी पुलिस बल को बुलाना पड़ा। काफी मशक्कत और वाटर कैनन के इस्तेमाल के बाद पुलिस नर्स को अस्पताल से बाहर ले जा सकी। वहीं दूसरी नर्स पहले ही अस्पताल से निकलने में कामयाब हो गई थी।
पाकिस्तान के विवादास्पद ईशनिंदा कानून और उसके लिए निर्धारित दंड को गंभीर अपराध माना जाता है। ईशनिंदा के आरोपियों को अपनी पसंद का वकील रखने का अधिकार नहीं होता है। क्योंकि ज्यादातर वकील ऐसे संवेदनशील मामलों को लेने से इनकार कर देते हैं।
आईसीसी ने नर्सों के खिलाफ आरोपों को बताया झूठा
मामले पर इंटरनेशनल क्रिश्चियन कंसर्न (आईसीसी) ने कहा कि दोनों ही नर्सों के ऊपर ईशनिंदा का झूठा आरोप लगाया गया है। अस्पताल की मुख्य नर्स रुखसाना को मरियम लाल से शिकायत थी। रुखसाना ने ही अस्पताल के कर्मचारियों को कुरान की आयतों के स्टिकर हटाने की बात कहकर उकसाया। इसके बाद अस्पताल के एक कर्मचारी वकास ने मरियम पर चाकू से हमला कर दिया। हालांकि हमले में वह बच गईं लेकिन उनके हाथ में गंभीर चोट आई है।



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