धर्म-अध्यात्म

प्रसिद्ध हनुमान मंदिर जहां अलग-अलग रूपों में विराजमान है पवन पुत्र

Ritisha Jaiswal
27 April 2021 9:38 AM GMT
प्रसिद्ध हनुमान मंदिर जहां अलग-अलग रूपों में विराजमान है पवन पुत्र
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वैसे तो देश भर में बजरंगबली भगवान हनुमान के कई अनोखे मंदिर है

जनता से रिश्ता वेबडेस्क | वैसे तो देश भर में बजरंगबली भगवान हनुमान के कई अनोखे मंदिर हैं और हर मंदिर की अपनी अलग पौराणिक कहानी और मान्यता है. राम भक्त, रूद्र अवतार, वायुपुत्र, केसरी नंदन, श्री बालाजी के नाम से प्रसिद्ध भगवान हनुमान पूरे भारत भर में पूजे जाते हैं. हनुमान जी को कलयुग के जीवंत देवता के रूप में भी जाना जाता है और ऐसी मान्यता है कि हनुमान जी बहुत जल्दी प्रसन्न होने वाले देव भी हैं. आज हनुमान जयंती के मौके पर हम आपको बता रहे हैं देश के ऐसे मंदिरों के बारे में जहां बिल्कुल अलग रूप में विराजमान हैं हनुमान जी

1. दाढ़ी मूंछ वाले हनुमान- राजस्थान के चुरू जिले में है सालासर बालाजी हनुमान मंदिर इस मंदिर में मौजूद प्रतिमा देश भर में एक मात्र ऐसी मूर्ति है जिसमें हनुमान जी के चेहरे पर दाढ़ी मूंछ है. यह मंदिर भारत ही नहीं बल्कि देश के बाहर भी काफी प्रसिद्ध है और हर साल लाखों की संख्या में भक्त यहां दाढ़ी मूंछ वाले सालासर बालाजी के दर्शन के लिए आते हैं. इस मंदिर से जुड़ी एक रोचक कथा भी है. मान्यता है कि बालाजी यानी हनुमान जी के एक भक्त थे मोहनदास जिनकी भक्त‌ि से प्रसन्न होकर बालाजी ने इन्हें मूर्त‌ि रूप में प्रकट होने का वचन द‌िया था. इसके पीछे मान्यता यह है क‌ि मोहनराम को पहली बार बालाजी ने दाढ़ी मूंछों के साथ दर्शन द‌िए थे इसल‌िए हनुमान जी यहां दाढ़ी मूछों में स्‍थ‌ित हैं.

2. लेटे हनुमान जी- प्रयागराज में संगम किनारे हनुमान जी का एक और प्रसिद्ध मंदिर है जहां पर हनुमान जी की प्रतिमा लेटे हुए अवस्था में है ऐसी मान्यता है कि अगर संगम में स्नान कर इस मंदिर में दर्शन न करें तो स्नान अधूरा रह जाता है. हनुमान जी की ये प्रतिमा करीब 20 फीट लंबी है. इस मंदिर के बारे में ऐसी मान्यता है कि लंका पर जीत हासिल करने के बाद जब हनुमान जी लौट रहे थे तो रास्ते में उन्हें थकान महसूस होने लगी. सीता माता के कहने पर वह संगम के तट पर लेट गए. इसी को ध्यान में रखते हुए यहां लेटे हनुमान जी का मंदिर है.

3. उल्टे हनुमान जी- भारत में हनुमान जी का एक ऐसा मंदिर भी है जहां सिर के बल खड़ी उनकी उल्टी प्रतिमा की पूजा की जाती है. मध्य प्रदेश के इंदौर स्थित सांवरे नामक स्थान पर है उल्टे हनुमान जी का मंदिर. मंदिर में हनुमान जी की उल्टे मुख वाली सिंदूर से सजी मूर्ति विराजमान है. पौराणिक कथा की मानें तो जब अहिरावण भगवान श्रीराम और लक्ष्मण का अपहरण कर पाताल लोक ले गया था, तब हनुमान जी ने पाताल लोक जाकर अहिरावण का वध कर श्रीराम और लक्ष्मण की रक्षा की थी. मान्यता है कि यही वह स्थान है, जहां से हनुमान जी ने उल्‍टे होकर पाताल लोक जाने के लिए प्रवेश किया था. यहां आने वाले भक्तों की मानें तो उल्टे हनुमान जी के दर्शन मात्र से ही भक्तों की सभी समस्याएं दूर हो जाती हैं


Ritisha Jaiswal

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