रायपुर : पुलिस और निगम अधिकारियों ने बेवजह घूमने वालों पर बढ़ा दी सख्ती

>अब नहीं चलेगा बहानेबाजी से काम, पुलिस ने दी चेतावनी
रायपुर (जसेरि)। राजधानी में लॉकडाउन को मद्देनजऱ रखते हुए पुलिस और निगम ने बेवजह घूमने वालों पर सख्ती बढ़ा दी है। राजधानी में जारी लॉकडाउन के चलते पुलिस हर दिन लोगों को जागरूक करने के लिए पेट्रोलिंग गाड़ी लोगों से फ्लैग मार्च के जरिये अपने घरों में रहने का अपील करती है। मगर लोग है सुनते नहीं है और अपने घरों से किसी न किसी बहाने से निकलते है। जिस पर पुलिस उनकी गाड़ी ज़ब्त कर लेती है और लॉकडाउन का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 188 के तहत कार्यवाही की जाती है।
रायपुर के बैजनाथ पारा इलाके में दुकानों का शटर आधा खुला हुआ है और दुकानदार ग्राहकों को मनचाहा सामान बेच रहे है। कोरोना वायरस संक्रमण को लेकर हालात दिन पर दिन बिगड़ते जा रहे हैं। शहर में दुकान पर खरीदारी प्रतिबंधित हो गई है, इसके बावजूद लोग मानने को तैयार नहीं हैं। बेवजह घरों से निकल रहे हैं। वहीं कई स्थानों पर दुकानों का शटर आधा खुला दिखता हैं। जिंदगी महफूज रखने के लिए ऐसे लोगों के खिलाफ रोजाना मुकदमे दर्ज हो रहे हैं, लेकिन शायद उन्हें इन मुकदमों की गंभीरता का अंदाजा नहीं है।
लॉकडाउन का हुआ उल्लंघन लगेगा 188: कोरोना वायरस से लडऩे के लिए लॉकडाउन महामारी कानून के तहत लागू किया गया है। इसी कानून में प्रावधान है कि अगर लॉकडाउन में सरकार के निर्देशों का कोई व्यक्ति उल्लंघन करता है, तो उस पर भारतीय दंड संहिता की धारा 188 के तहत कानूनी कार्रवाई की जाएगी। इस संबंध में किसी सरकारी कर्मचारी द्वारा दिए निर्देशों का उल्लंघन करने पर भी आपके खिलाफ ये धारा लगाई जा सकती है। यहां तक कि किसी के ऊपर ये धारा लगाने व कानूनी कार्रवाई करने के लिए ये भी जरूरी नहीं कि उसके द्वारा नियम तोड़े जाने से किसी का नुकसान हुआ हो या नुकसान हो सकता हो।
क्या है धारा 144 : धारा-144 का मकसद कई लोगों को एक जगह एकत्र होने से रोकना है। सरकार यह धारा तब लागू करती है, जब लोगों के एकत्र होने से कोई खतरा हो। यह धारा शांति कायम करने या आपात स्थिति से बचने के लिए तब लगाई जाती है, जहां सुरक्षा, स्वास्थ्य संबंधी खतरा या दंगे की आशंका हो। इस धारा के तहत पांच या उससे अधिक लोग एक साथ जमा नहीं हो सकते हैं। यह जमानती अपराध है। धारा 144 के उल्लंघन का दोषी पाए जाने पर मोटी रकम के निजी मुचलके पर पाबंद किया जा सकता है। धारा 151 के तहत शांतिभंग में चालान भी किया जा सकता है। इसमें अधिकतम तीन साल जेल की सजा हो सकती है।
